सीएम योगी के बाद धामी के कंधे पर पीएम मोदी का हाथ, क्या सीएम फेस बनाने का प्लान कर रही बीजेपी?

उत्तराखंड 05 दिसम्बर(वेदांत समाचार)। उत्तराखंड में होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले शनिवार को राज्य की राजधानी देहरादून में प्रधानमंत्री की विशाल रैली की चर्चा है. वहीं रैली से भी ज्यादा चर्चा पीएम नरेन्द्र मोदी द्वारा सीएम पुष्कर सिंह धामी के कंधे पर हाथ रखने को लेकर हो रही है. क्योंकि अब इसके सियासी मायने निकाले जाने लगे हैं. वहीं पीएम मोदी से मिले आशीर्वाद से सीएम पुष्कर सिंह धामी का भी आत्मविश्वास चरम है. क्योंकि पीएम मोदी ने पिछले दिनों ही उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के कंधों पर भी हाथ रखा था और उसके बाद तय हो गया था कि राज्य में सीएम योगी की अगुवाई में चुनाव लड़े जाएंगे और सीएम योगी राज्य में और ज्यादा मजबूत हुए थे. ऐसा ही कुछ शनिवार को देहरादून की रैली में भी देखने को मिला.

दरअसल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को देहरादून के परेड ग्राउंड में बीजेपी की रैली के दौरान जनसभा के दौरान मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की पीठ थपथपाई और उनके कंथे पर हाथ भी रखा. हालांकि इससे पहले पीएम मोदी केदारनाथ में सीएम धामी की तारीफ कर चुके हैं. लेकिन देहरादून की रैली में पीएम मोदी का उनके कंधों पर हाथ रखने का मायने साफ है कि वह सीएम धामी के अब तक कार्यकाल से खुश हैं. पीएम मोदी ने राज्य में युवा नेतृत्व की तारीफ करते हुए कहा कि युवा सीएम के साथ 30-40 साल के अनुभव वाले पूर्व मुख्यमंत्रियों की टीम भी काम कर रही है. इसके जरिए पीएम मोदी ने पार्टी के वरिष्ठ नेताओं को संदेश देने की कोशिश भी की है वह राज्य के वर्तमान सरकार से खुश हैं. गौरतलब है कि पिछले महीने एम्स के कार्यक्रम में पीएम मोदी राज्य के सीएम पुष्कर सिंह धामी को अपना दोस्त बता चुके हैं.

अभी तक बीजेपी ने धामी को नहीं बनाया सीएम फेस
राज्य में चुनाव होने हैं और अभी तक राज्य में बीजेपी ने सीएम धामी को विधानसभा चुनाव के लिए सीएम का चेहरा घोषित नहीं किया है. राज्य में अभी तक जितने बड़े नेताओं के दौरे हुए उन्होंने सामूहिक नेतृत्व में चुनाव लड़ने की बात कही है. क्योंकि पार्टी को डर है कि राज्य में धामी को सीएम का चेहरा घोषित करने के बाद गुटबाजी और तेज हो जाएगी. लिहाजा पार्टी अभी सीएम धामी को चुनावों में सीएम फेस घोषित करने से डर रही थी. पीएम मोदी के बार बार तारीफ करने और कंधे पर हाथ रखने के बाद, राज्य में बीजेपी सीएम धामी पर दांव खेल सकती है.

एक पूर्व सीएम और राज्यसभा सांसद सीएम फेस घोषित करने के खिलाफ
देश के कई राज्यों में हुए चुनावों में सीएम का चेहरा घोषित ना करने का खामियाजा पार्टी कई बार उठा चुकी है. इस साल बंगाल में हुए चुनाव में पार्टी ने किसी को सीएम का चेहरा घोषित नहीं किया था. जिसके कारण पार्टी को राज्य में नुकसान हुआ था. वहीं कपार्टी का एक बड़ा वर्ग सीएम धामी को चुनाव में सीएम फेस घोषित करने को कह रहा है. जबकि पार्टी का एक दूसरा धड़ा, जिसमें राज्य के एक पूर्व सीएम और एक राज्यसभा सांसद इसके खिलाफ बताए जा रहे हैं. क्योंकि दोनों को लगता है कि राज्य में चुनाव के बाद बनने वाली परिस्थिति में वह सीएम के बड़े दावेदार हो सकते हैं.

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