कौन हैं चीन में रहने वाले उइगर मुसलमान जिनके अंगों को जबरन निकालकर बेचा जा रहा और कोड़े से पिटाई हो रही..

16 नवंबर (वेदांत समाचार)। अमेरिका और चीन में बढ़ते तनाव के बीच मंगलवार को शी जिनपिंग और जो बाइडेन की वर्चुअल मीटिंग हुई. मीटिंग में अमेरिकी राष्‍ट्रपति बाइडेन ने उत्तर पश्चिमी चीन में उइगरों के खिलाफ मानवाधिकारों के हनन पर चीन की आलोचना की.

पिछले काफी समय से उइगर मुसलमानों पर आ रही खबरें चौंका रही हैं. ऑस्‍ट्रेलिया के एक टेबलाइट न्‍यूजपेपर ‘हेराल्ड सन’ की रिपोर्ट के मुताबिक, चीन में कैद उइगर मुसलमानों के जबरन किडनी और लिवर निकालकर बेचे जा रहे हैं.  इस कालाबाजारी से चीन 75 अरब रुपए सालाना कमा रहा है.

कौन हैं उइगर मुसलमान?

उइगर मुसलमान अल्‍पसंख्‍यक तुर्क जातीय समूह से ताल्‍लुक रखते हैं. इनकी उत्‍पत्ति मध्‍य और पूर्व एशिया में हुई. ये तुर्की भाषा बोलते हैं. चीन में जिन 55 अल्‍पसंख्‍यक समुदायों को आ‍धिकारिकतौर पर मान्‍यता दी गई है, उइगर उनमें से ही एक हैं. वर्तमान में उइगर मुसलमानों की सबसे बड़ी आबादी चीन के शिनजियांग क्षेत्र में रहती है। इसके अलावा उज्‍बेकिस्‍तान, किर्ग‍िस्‍तान और कजाखस्‍तान में भी ये रहते हैं.

चीन को उइगर मुसलमानों से क्‍या परेशानी है और यह कैसे शुरू हुई?

चीन ने उइगर मुसलमानों को एक क्षेत्रीय अल्पसंख्यक के रूप में मान्यता दी है. चीन इन्‍हें स्‍वदेशी समूह मानने पर सीधे तौर पर मना कर चुका है. इस समुदाय पर चीन की नजरें हमेशा से ही टेढ़ी रही हैं. यह समुदाय चीन के शिनजियांग क्षेत्र में रहता है. पिछले कुछ दशकों में इस प्रांत का तेजी से आर्थिक विकास हुआ है लेकिन उइगर समुदाय के साथ होने वाले भेदभाव के कारण इसका फायदा यहां रहने वाले हान समुदाय को मिला है.

इसी कारण 2009 में शिनजियांग प्रांत की राजधानी उरुमकी में दोनों समुदायों के बीच हिंसा हुई. इसमें 200 से ज्‍यादा लोगों की मौत हो गई. इस घटना के बाद चीन का इनके प्रत‍ि रुख और  सख्‍त हो गया. आज उइगर मुसलमानों के सामने आजीविका का संकट आ खड़ा हुआ है.

उइगर मुसलमानों पर क्‍या आरोप लगे और चीन ने क्‍या सफाई दी?

पिछले कई दशकों से चीन उइगर मुसलमानों पर आतंकवाद और अलगाववाद के आरोप लगाता रहा है. इस आरोपों की आंड़ में चीन उनका शारीरिक उत्‍पीड़न, जबरन नजरबंदी, जांच, निगरानी कर रहा है. इतना ही नहीं, चीन ने इस समुदाय के ज्‍यादातर लोगों को गुलाम बना रखा है या नजरबंद कर रखा है.

दुनियाभर के कई देशों में इसकी आलोचना होने पर चीन ने सफाई भी दी. चीन का कहना है, इन्‍हें नजरबंद नहीं बल्कि ऐसे श‍िविर में रखा है जो ‘शैक्षणिक केंद्र’ हैं. इन केंद्रों में उइगर मुसलमानों में मन से ‘चरमपंथी’ और ‘कट़टरपंथीकरण’ के विचारों को बाहर निकालने का काम किया जा रहा है. 

चीन यह दावा करता है क‍ि यह समुदाय एक अलग स्‍वतंत्र राज्‍य स्‍थापित करना चाहते हैं और शिनजियांग प्रांत में यह अलगाववादी आंदोलन को जन्‍म दे सकते हैं. 

चीन ने किस तरह उइगर मुसलमानों को प्रताड़ित किया जा रहा है, अब इसे जानिए

चीन में उइगर मुसलमानों के हालातों पर पूर्व चीनी अधिकारी जियांग ने कई चौंकाने वाली बातें बताईं. एक इंटरव्‍यू में जियांग ने कहा, चीन के डिटेंशन सेंटर में इन्‍हें कुर्सी से बांधकर रखा जाता है. पुलिसकर्मी इन पर कोड़े बरसाते हैं. लातों-घूसों से पीटा जाता है. इन्‍हें सोने तक नहीं दिया जाता है. इनमें 14 साल से कम उम्र के बच्‍चे भी शामिल हैं. 

जियांग ने मीडिया में दिए इंटरव्‍यू में कुछ ऐसी तस्‍वीरें भी साझा की थीं जो उइगर मुसलमानों पर होने वाले जुल्‍म की कहानी कहती थीं. जियांग के मुताबिक, उइगर मुसलमानों पर छोटे-छोटे आरोप लगाकार कई सालों तक  जेल में रखा जाता है.

2020 में अमेरिका के हाउस ऑफ रिप्रेजेंटेटिव्स ने उइगर मुसलमानों के उत्पीड़न के लिए जिम्‍मेदार चीनी अधिकारियों पर प्रतिबंध लगाने के लिए बकायदा एक कानून को मंजूरी दी थी