बिलासपुर 01 अक्टूबर (वेदांत समाचार) वैदेहिक कंस्ट्रक्शन कंपनी के ठगी करने का मामला सामने आया है। कंपनी के डायरेक्टर व कर्मचारियों ने मिलकर रिटायर्ड रेलवे कर्मी को जमीन दिलाने का झांसा देकर 80 लाख रुपए वसूल लिए। इसके बाद ऑफिस बंद कर भाग निकले। जमीन नहीं मिलने पर अपनी रकम वापस पाने के लिए रेलकर्मी चक्कर काटते रहे। परेशान होकर उन्होंने मामले की शिकायत पुलिस से की।
राजकिशोर नगर में रहने वाले सदनकुमार बनर्जी सेवानिवृत्त रेलकर्मी हैं। उन्हें शहर में जमीन की जरूरत थी। तब उन्होंने 2013 में तारबाहर चौक स्थित वैदेहिक कंस्ट्रक्शन कंपनी के ऑफिस में संपर्क किया। तब कंस्ट्रक्शन कंपनी के डायरेक्टर अनुराग कोन्हेर और उसके कर्मचारियों ने सेवानिवृत्त रेलकर्मी को मोपका, तिफरा व अन्य जगहों पर जमीन दिखाया। इस दौरान उन्होंने दूसरे की जमीन को अपना बताकर रेलकर्मी से सौदा तय कर लिया। उनकी बातों में आकर रेलवे कर्मी जमीन खरीदने के लिए तैयार हो गए।
कंपनी के डायरेक्टर और उनके साथियों ने जमीन रजिस्ट्री कराने का आश्वासन देते हुए उनसे अलग-अलग किश्तों में 80 लाख रुपए भी ले लिए। इसके बाद न तो जमीन की रजिस्ट्री कराई और न ही उनके रुपए वापस किए। जमीन की रजिस्ट्री कराए बिना कंपनी के डायरेक्टर व रिश्तेदार ऑफिस बंद कर शहर से ही गायब हो गए। इससे परेशान रिटायर्ड लेकर कर्मी अपनी शिकायत लेकर 2017 से चक्कर काटते रहे। अब जाकर पुलिस ने उनकी शिकायत पर अनुराग कोन्हेर, वैदेहिक कोन्हेर, सूरज श्रीवास्त व अभिजीत के खिलाफ जुर्म दर्ज किया है।
शहर में नहीं थी जमीन फिर भी शुरू कर दिया कारोबार, महाराष्ट्र से पकड़कर लाई थी पुलिस
अनुराग कोन्हेर ने अपनी मां वैदेहिक कोन्हेर के नाम से वैदेहिक रियल एस्टेट का कारोबार शुरू किया था। इसके बाद मोपका, तिफरा व शहर के आउटर में कॉलोनी विकसित करने प्लॉट व मकान बेचने के नाम से लोगों से लाखों रुपए की ठगी की। जमीन दिखा कर वह अपनी कंपनी के दस्तावेज दिखाता था। जबकि, जमीन खरीदने के बजाए उसने जमीन मालिकों से सिर्फ एग्रीमेंट कर बेवकूफ बनाते रहा। रुपए देने वालों को बाद में पता चला कि शहर में उसके नाम की जमीन ही नहीं थी। 2016-17 में उसके खिलाफ धोखाधड़ी का अपराध दर्ज हुआ था, तब पुलिस उसे महाराष्ट्र से गिरफ्तार कर लाई थी।
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