पति के चार साल के लंबे संघर्ष और मेहनत के बाद पत्नी एक सफल सिंगर बन गई, लेकिन सफलता मिलते ही उसने अपने पति को छोड़ दिया

UP News: उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में एक दिलचस्प और भावनात्मक मामला सामने आया है. अरविंद कुमार पांडेय ने दावा किया है कि उन्होंने अपनी पत्नी को सिंगर बनाने के लिए अपनी पूरी मेहनत और जमापूंजी लगा दी. कोविड के दौरान उनकी पत्नी ज्योति ने सिंगर बनने की इच्छा जाहिर की थी, जिसे पूरा करने के लिए अरविंद ने कोई कसर नहीं छोड़ी. उन्होंने अपनी पत्नी को अलग-अलग जगह ले जाकर लोगों से मिलवाया और उसे काम दिलवाने की पूरी कोशिश की. चार साल के लंबे संघर्ष और मेहनत के बाद ज्योति एक सफल सिंगर बन गई, लेकिन सफलता मिलते ही उसने अपने पति को छोड़ दिया.

पत्नी को सिंगर बनाने के लिए की थी दिन-रात मेहनत
अरविंद का कहना है कि उन्होंने अपनी पत्नी के करियर को सँवारने के लिए बहुत मेहनत की. स्टूडियो बनवाया, उसे अलग-अलग जगह काम दिलवाया और उसकी हर संभव मदद की. इसी दौरान ज्योति की मुलाकात धर्मेंद्र नाम के एक युवक से हुई और वे दोनों साथ में काम करने लगे. अरविंद का कहना है कि सब कुछ ठीक चल रहा था, लेकिन धीरे-धीरे ज्योति ने उनसे दूरी बना ली. अब ज्योति धर्मेंद्र के साथ लिव-इन में रह रही है और पिछले तीन महीनों से घर नहीं आ रही है. अरविंद का दावा है कि ज्योति ने उसे और उनके घर को पूरी तरह छोड़ दिया है.

9 साल तक ड्राइवरी कर दिलाई थी तरक्की
अरविंद पेशे से ड्राइवर हैं और अक्सर काम के सिलसिले में कई दिनों तक बाहर रहते हैं. जब भी वे अपनी पत्नी से उसके बारे में पूछते थे, ज्योति हमेशा अलग-अलग शहरों में शूटिंग का बहाना बनाकर बात टाल देती थी. कभी दिल्ली, कभी मुंबई होने का बहाना बनाकर ज्योति उनसे नहीं मिलती थी. अरविंद को यह महसूस हुआ कि कुछ गड़बड़ है, इसलिए उन्होंने अपने जान-पहचान वालों से पता करवाया. तब उन्हें पता चला कि ज्योति गोमती नगर में धर्मेंद्र के साथ रह रही है. एक दिन जब अरविंद वहां पहुंचे तो धर्मेंद्र ने उनके साथ मारपीट भी की.

अरविंद का आरोप है कि धर्मेंद्र ने ज्योति को बहकाकर अपने साथ रखा हुआ है. इस दौरान उनकी छोटी बेटी भी उनके साथ है. मारपीट की घटना के बाद अरविंद ने धर्मेंद्र के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई है. उन्होंने अपनी बेटी और पत्नी को वापस लाने के लिए पुलिस अधिकारियों के साथ महिला आयोग और मुख्यमंत्री से भी शिकायत की है. अरविंद की यह दर्द भरी कहानी न केवल व्यक्तिगत संघर्ष की दास्तान है, बल्कि यह दर्शाती है कि कैसे एक आदमी ने अपनी पत्नी के सपनों को साकार करने के लिए सब कुछ दांव पर लगा दिया, लेकिन अंत में उसे धोखा मिला.