नई दिल्ली, एजेंसियां। वित्तीय विकास (Financial Development) क्षेत्र में भी सरकार खुलकर खर्च करने के स्थिति में दिखाई दे रही है। सरकरान ने देश में बैंकिंग क्षेत्र को मजबूत करने के कई बड़े ऐलान किए हैं। भुगतान में देरी को कम करने के लिए एक आनलाइन बिल प्रणाली शुरू की जाएगी। सभी केंद्रीय मंत्रालय इस आनलाइन प्रणाली का इस्तेमाल करेंगे। इसके साथ ही वित्तीय समावेशन को बढ़ावा देने के लिए सभी डाकघरों को कोर बैंकिंग समाधान से जोड़ा जाएगा। मंत्रालयों द्वारा खरीद के लिए पूरी तरह से पेपरलेस ई-बिल प्रणाली शुरू की जाएगी।
आनलाइन बिल प्रणाली पर जोर
डिजिटल बैंकिंग को बढ़ावा दिया जाएगा। डाकघरों में नेटबैंकिंग, एटीएम की सुविधा भी देंगे। साथ ही देश में आनलाइन पेमेंट पर जोर देने के लिए नई योजनाओं की शुरुआत की गई है। पिछले साल सरकार ने देश में डिजिटिल पेमेंट को बढावा देने के लिए 1500 करोड़ रुपये का बजट पेश किया था। इससे पहले पिछले साल 2020 में डिजिटल भुगतान में 80 प्रतिशत का इजाफा हुआ था। देश में डिजिटल भुगतान को बढ़ावा देने के लिए वित्तीय प्रोत्साहन दिया जायेगा।
2021 में बैंकों को क्या मिला
निर्मला सीतारमण ने बैंकिंग सेक्टर (Banking Sector) के लिए बड़ा ऐलान किया है। इससे पहले बजट 2021 में भी पब्लिक सेक्टर बैंकों में 20,000 करोड़ रुपये की पूंजी डाली गई थी। वित्त मंत्री ने बैंक के बही खाते को सही करने के लिए कड़े कदम उठाने पर जोर दिया था। इसके साथ ही लोगों को कोरोना के चलते स्वास्थ्य बीमा पर जीएसटी कम होने की उम्मीद थी। पिछले साल सरकार ने खाताधारकों की इंश्योरेंस की सीमा को 1 लाख से बढ़ाकर 5 लाख कर दिया था। इससे पहले सरकार ने बजट 2021 में बीमा क्षेत्र में फारेन डायरेक्ट इन्वेस्टमेंट (FDI) को 49 प्रतिशत से बढ़ाकर 74 फीसदी कर दिया गया था। भारत की आधी से ज्यादा आवादी के पास स्वास्थ्य बीमा नहीं है। इसके चलते सरकार ने स्वास्थ्य बजय के क्षेत्र में भी बड़ी घोषणाएं की है।
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