छत्तीसगढ़ में दो वर्ष में साढ़े 16 हजार से अधिक गांव बने ODF प्लस, वेरिफिकेशन भी हो चुका

रायपुर, 13 मार्च । प्रदेश में स्वच्छता को लेकर लोगाें में तेजी से जागरूकता बढ़ रही है। प्रदेश को जनवरी 2024 में देश का तीसरा सबसे स्वच्छ राज्य होने पर पुरस्कृत किया गया था। दो वर्ष के भीतर 16,608 गांव ने खुद को ओडीएफ प्लस घोषित किया है, जिसमें से 4,752 गांवों को तीसरे पक्ष के सत्यापन के माध्यम से प्रमाणित किया गया है।
4,752 में से 2,757 ओडीएफ प्लस मॉडल गांव हैं। सारंगढ़-बिलाईगढ़ में 705 गांव हैं। इसमें से 37 ने खुद को ओडीएफ प्लस माडल घोषित किया है। इसका वेरिफिकेशन भी हो चुका है।

इन गांवों को मिलता है ओडीएफ का दर्जा


विशेषज्ञों का कहना है कि ओडीएफ प्लस मॉडल गांव वैसे गांव होते हैं, जिन्होंने ओडीएफ की अपनी स्थिति को बनाए रखा है और इनमें ठोस अपशिष्ट प्रबंधन तथा तरल अपशिष्ट प्रबंधन दोनों की व्यवस्था रहती है। ओडीएफ प्लस यानी ऐसा गांव जहां खुले में शौच पर पूर्ण पाबंदी हो और ग्राम पंचायत में कम से कम एक सामुदायिक शौचालय हो। इसके साथ ही गांव के सभी घरों के साथ-साथ प्राथमिक विद्यालय, पंचायत घर और आंगनबाड़ी केंद्र में शौचालय की सुविधा हो। वहीं, सभी सार्वजनिक स्थानों और कम से कम 80 फीसदी घरों में अपने ठोस और तरल कचरे का प्रभावी ढंग से प्रबंधन हो।

इतना ही नहीं, स्कूल-आंगनबाड़ी केंद्र में विद्यार्थियों के लिए अलग-अलग शौचालय उपलब्ध हो। किसी भी सामूहिक जगहों पर जैविक या अजैविक कूड़ा या नाले में पानी इकट्ठा न हो और गांव में कूड़ा निस्तारण को कूड़ेदान या गड्ढे बने हो।

पांच नगरीय निकायों को मिला पुरस्कार


केंद्रीय आवासन एवं शहरी कार्य मंत्रालय की ओर से आयोजित स्वच्छ सर्वेक्षण-2023 में छत्तीसगढ़ को महाराष्ट्र और मध्यप्रदेश के बाद देश के तीसरे सबसे साफ-सुथरे राज्य का दर्जा मिला था। प्रदेश की इस उपलब्धि के लिए राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने नई दिल्ली के भारत मंडपम कन्वेंशन सेंटर में आयोजित समारोह में पुरस्कृत किया था। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय और उप मुख्यमंत्री व नगरीय प्रशासन एवं विकास मंत्री अरुण साव ने यह पुरस्कार ग्रहण किया था।

स्वच्छ सर्वेक्षण में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले राज्य के पांच नगरीय निकायों रायपुर, महासमुंद, कुम्हारी, आरंग और पाटन को समारोह में पुरस्कृत किया गया था। केंद्र सरकार के आवासन एवं शहरी कार्य मंत्रालय की ओर से हर साल देश के सभी शहरों एवं राज्यों के मध्य स्वच्छ सर्वेक्षण का आयोजन किया जाता है। इसमें विभिन्न मापदंडों के अंतर्गत शहरी स्वच्छता का आकलन किया जाता है। राज्यों एवं शहरों की रैंकिंग जारी कर उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले राज्यों तथा शहरों को पुरस्कृत किया जाता है।

वर्ष-2023 में देश के 446 शहरों के स्वच्छता सर्वेक्षण में नगर पालिक निगम कोरबा ने राज्य में दूसरा और देश में 26वां स्थान हासिल किया था। यह पहली बार था जब राज्य के स्वच्छता सर्वेक्षण में अंबिकापुर शहर को पीछे करते हुए कोरबा ने यह उपलब्धि हासिल की।

[metaslider id="122584"]
[metaslider id="347522"]