International Mountain Day 2023: दिसंबर की 11 तारीख का दिन दुनियाभर में अंतर्राष्ट्रीय पर्वत दिवस के रूप में मनाया जाता है। जिसका मकसद लोगों को पर्वतों के संरक्षण के प्रति जागरूक करना है। पृथ्वी का लगभग 22 प्रतिशत हिस्सा पर्वत कवर करते हैं। पर्वतों से पानी, भोजन, चिकित्सा, ऊर्जा जैसी कई महत्वपूर्ण चीज़ों की प्राप्ति होती है, लेकिन बढ़ते पर्यटन और डेवलपमेंट से इन्हें काफी नुकसान पहुंच रहा है, जिस ओर समय रहते ध्यान न दिया गया, तो कई गंभीर परिस्थितियों का सामना करना पड़ सकता है। आइए जानते हैं कैसे हुई थी इस दिन को मनाने की शुरुआत और किस थीम के साथ किया जा रहा है इस बार इस दिन को सेलिब्रेट।
अंतर्राष्ट्रीय पर्वत दिवस का इतिहास?
पहाड़ों के संरक्षण मानवों के लिए ही नहीं बल्कि पूरे पारिस्थितिकी तंत्र के लिए बहुत जरूरी है। साल 1992 में जब पर्यावरण और विकास पर UN सम्मेलन में एजेंडा 21 के चैप्टर 13 “नाज़ुक पारिस्थितिकी तंत्र का प्रबंधन: सतत पर्वतीय विकास” पर जोर दिया गया, तब दुनिया का ध्यान इस ओर गया कि पर्वतों का संरक्षण हमारे लिए कितना जरूरी है। जिसके बाद संयुक्त राष्ट्र महासभा ने साल 2002 को अंतर्राष्ट्रीय पर्वत वर्ष घोषित किया। जिसके बाद पहली बार 11 दिसंबर 2003 को दुनियाभर में पहला अंतर्राष्ट्रीय पर्वत दिवस मनाया गया और उसके बाद से हर साल इसे मनाया जा रहा है।
अंतर्राष्ट्रीय पर्वत दिवस की थीम
अंतर्राष्ट्रीय पर्वत दिवस हर साल एक नई थीम के साथ मनाया जाता है और इस थीम को लेकर पूरे साल पर्वतों के संरक्षण पर काम किया जाता है। साल 2023 की थीम “रिस्टोरिंग माउंटेन इकोसिस्टम” रखी गई है।
अंतर्राष्ट्रीय पर्वत दिवस का महत्व
अंतर्राष्ट्रीय पर्वत दिवस ने पहाड़ों के संरक्षण को लेकर लोगों में जागरूकता बढ़ाई है। जिसका असर अब पर्वतीय पर्यटन पर भी देखने को मिल रहा है। लोग हिल स्टेशन पर घूमने के साथ उसकी साफ-सफाई का भी ध्यान रख रहे हैं। पर्वतों के लिए एक पूरा दिन समर्पित करना ये जाहिर करता है कि हमारे लिए वो कितने महत्वपूर्ण हैं।
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