RAILWAY NEWS : बस कुछ दिन इंतजार फिर बढ़ जाएगी ट्रेनों की रफ्तार, इन सेक्शनों में बिछ चुकी है चौथी लाइन

आने वाले दिनों में बिलासपुर से झारसुगुड़ा तक ट्रेनें न आउटर पर खड़ी होंगी और न ही विलंब होगी। इस समस्या को समाप्त करने के लिए रेलवे चौथी लाइन परियोजना पर काम कर रही है। 206 किमी के इस रेल खंड की वर्तमान में स्थिति यह है कि 100 किमी तक लाइन बिछाने का कार्य पूरा कर लिया गया है।

सबसे महत्वपूर्ण कार्य ईब नदी पर ब्रिज बनाने का अंतिम चरण पर है। इस रेल लाइन के बिछते ही ट्रेनों की गति में वृद्धि होगी। यात्रियों को बेवजह ट्रेनों की प्रतीक्षा नहीं करनी पड़ेगी। रेलवे में अभी लगातार ट्रेनें रद हो रही हैं। इससे यात्रियों को परेशानियां हो रही हैं। इसके अलावा वह रेल प्रशासन से नाराज भी हैं। हालांकि अभी जोन में जिन कार्यों को पूरा करने के लिए ट्रेनें रद की जा रही हैं, उनकी सही जानकारी यात्रियों को नहीं है। उन्हें यह भी नहीं मालूम है कि अधोसंरचना से जुड़े इन कार्यों का भविष्य में कितना लाभ होगा।

रेलवे की महत्वपूर्ण परियोजनाओं में ही एक नाम बिलासपुर-झारसुगुड़ा चौथी लाइन है। इसे शीघ्र पूरा करने के लिए रेलवे का मैदानी अमला दिनरात परिश्रम कर रहा है। इसी श्रम का नतीजा है कि वर्तमान में चौथी लाइन परियोजना का 50 प्रतिशत कार्य पूरा कर लिया गया है। सबसे अच्छी बात यह है कि चौथी बिछाने का काम टुकड़ो में हो रहा है। सेक्शनवार काम होने से किसी एक क्षेत्र के रेलकर्मियों पर दबाव कम पड़ रहा है।

इसके अलावा काम ठोस ढंग से हो रहा है। इस रेलखंड के अंतर्गत ईब नदी भी आती है। रेलवे की नजर में यही सबसे महत्वपूर्ण व चुनौतीपूर्ण कार्य है, जिसकी शुरुआत हुए काफी दिन हो गए हैं। अब कार्य अंतिम चरण पर है। रेलवे का मानना है कि नदी पर ब्रिज बनाने का कार्य जैसे पूरा हो जाएगा, अन्य बचे सेक्शनों में काम को तेज गति से किया जाएगा। लक्ष्य 2024 में पूरा करने का रखा गया है।

चौथी लाइन बनने के बाद इस रेलखंड की ट्रेनों की गति बढ़ेगी और यात्रियों को आउटर पर ट्रेनें खड़ी होने के बाद जिस तरह की दिक्कत होती है, उससे छुटकारा मिलेगी। बिलासपुर से झारसुगुडा तक दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे का एक महत्वपूर्ण व व्यस्त रेलमार्ग है। मालगाड़ियों के परिचालन के कारण एक्सप्रेस व पैसेंजर ट्रेन के मुसाफिर हर दिन घंटों इंतजार करके सजा भुगत रहे हैं। चौथी लाइन का काम पूरा होने से ट्रेनों की की गति बढ़ेगी।

2100 करोड़ की परियोजना

नागपुर से बिलासपुर तक चौथी लाइन बिछाने का कार्य हो चुका है। अब बिलासपुर से झारसुगुड़ा तक काम चल रहा है। 206 किमी चौथी रेल लाइन के निर्माण की लागत 2100 करोड़ रुपये है। भारीभरकम बजट की इस परियोजना को पूरा करने के लिए रेलवे भारी मशक्कत भी कर रही है।

इन सेक्शनों में बिछ चुकी है चौथी लाइन

  • ब्रजराजनगर – लजकुरा
  • चांपा-सारागांव
  • लजकुरा-बेलपहाड़
  • झाराडीह-खरसिया-राबर्ट्सन
  • हिमगीर-बेलपहाड़
  • ब्रजराजनगर-झारसुगुड़ा
  • गतौरा-जयरामनगर-लटिया
  • जामगा-हिमगिर