Fatty Liver in Kids: बच्चे भी हो सकते हैं फैटी लिवर का शिकार, इन लक्षणों के दिखने पर तुरंत हो जाएं सावधान

Fatty Liver in Kids: बच्चों में फैटी लिवर की बीमारी आम होती जा रही है, जिसे नजरअंदाज करने की गलती बिल्कुल नहीं करनी चाहिए। फैटी लिवर डिजीज, जिसे कभी मुख्य रूप से वयस्कों के स्वास्थ्य के लिए चिंता का विषय माना जाता था, अब बच्चों में भी तेजी से बढ़ता जा रहा है।

इस स्थिति को नॉन-अल्कोहॉलिक फैटी लिवर डिजीज (एनएएफएलडी) के रूप में भी जाना जाता है। यह समस्या तब होती है, जब बच्चों के लिवर सेल्स में अधिक फैट जमा हो जाती है। ऐसा खासतौर से इनएक्टिव लाइफस्टाइल, पैश्चराइज्ड फूड आइटम्स, एक्स्ट्रा शुगर और अनहेल्दी फैट वाले डाइट के अधिक सेवन के चलते होता है। बच्चों में फैटी लीवर के लक्षणों की पहचान करना और समय पर इलाज कराना ही इससे बचने का एकमात्र उपाय है। आइये जानते हैं इसके लक्षणों के बारे में।

बच्चों में फैटी लिवर के लक्षण क्या हैं?

थकान और कमजोरी: फैटी लिवर वाले बच्चे बेवजह थकान और कमजोरी महसूस करते हैं, जिससे उनका दैनिक जीवन काफी प्रभावित हो सकता है।

मोटापा या अधिक वजन: फैटी लिवर वाले से जूझने वाले सभी बच्चे मोटापे का शिकार नहीं होते हैं, हालांकि, कुछ में अधिक वजन देखने को मिलता है। शरीर का एक्स्ट्रा वजन, खासकर पेट के आसपास, एनएएफएलडी के लिए एक सामान्य जोखिम कारक है।

पेट में दर्द: फैटी लिवर वाले कुछ बच्चों को पेट के ऊपरी दाहिने हिस्से में असुविधा या फिर हल्के दर्द का अनुभव हो सकता है।

भूख कम लगना या वजन कम होना: कुछ मामलों में फैटी लिवर से जूझ रहे बच्चों को भूख में कमी या फिर तेजी से वजन घटने का अनुभव हो सकता है।

इंसुलिन रेसिस्टेंस और टाइप 2 मधुमेह: फैटी लिवर रोग का इंसुलिन रेसिस्टेंस से गहरा संबंध है और एनएएफएलडी वाले कुछ बच्चों में समय के साथ टाइप 2 मधुमेह का खतरा बढ़ सकता है।

हाई कोलेस्ट्रॉल और ट्राइग्लिसराइड्स: ब्लड टेस्ट के जरिए कोलेस्ट्रॉल और ट्राइग्लिसराइड्स के असामान्य लेवल नजर आ सकते हैं, जो फैटी लिवर डिजीज से जुड़े हैं।

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