भारत और ऑस्ट्रेलिया ने प्रमुख खनिज परियोजनाओं में निवेश की दिशा में मील का पत्थर तय किया

नई दिल्ली। भारत और ऑस्ट्रेलिया दोनों ने देशों के बीच आपूर्ति श्रृंखला विकसित करने के लिए महत्वपूर्ण खनिज परियोजनाओं में निवेश की दिशा में काम करने में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर तय किया है।

केंद्रीय कोयला, खान और संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी और ऑस्ट्रेलिया के संसाधन मंत्री मेडेलीन किंग ने शुक्रवार को द्विपक्षीय वार्ता के बाद घोषणा करते हुए कहा कि दोनों देशों के बीच साझेदारी के तहत पांच लक्षित परियोजनाओं (दो लिथियम और तीन कोबाल्ट) की पहचान की है, जिन पर विस्तारपूर्वक तत्परता से आवश्यक कार्य किया जाएगा। दोनों देशों के मंत्रियों ने सहयोग बढ़ाने और भारत-ऑस्ट्रेलिया क्रिटिकल मिनरल्स इन्वेस्टमेंट पार्टनरशिप के लिए अपनी मौजूदा प्रतिबद्धताओं को बढ़ाने पर भी सहमति व्यक्त की है।

साझेदारी के तहत निवेश के माध्यम से ऑस्ट्रेलिया में संसाधित महत्वपूर्ण खनिजों द्वारा समर्थित नई आपूर्ति श्रृंखलाएं कायम करने के प्रयास किए जाएंगे। इन प्रयासों से भारत को अपने बिजली नेटवर्क से उत्सर्जन कम करने और इलेक्ट्रिक वाहनों सहित वैश्विक विनिर्माण केंद्र बनने की योजनाओं में मदद मिलेगी।

प्रह्लाद जोशी ने कहा, भारत के केएबीआईएल और सीएमओ ऑस्ट्रेलिया ने, दोनों संगठनों के बीच मार्च 2022 में समझौते पर हस्ताक्षर करने के बाद एक वर्ष की छोटी अवधि में मील का पहला पत्थर तय कर लिया है। ऑस्ट्रेलिया के संसाधन मंत्री मेडेलीन किंग ने कहा, कार्बन उत्सर्जन कम करने और इलेक्ट्रिक वाहन उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए भारत के लक्ष्य के फलस्वरूप ऑस्ट्रेलिया के महत्वपूर्ण खनिज क्षेत्र, अक्षय निर्यात के लिए और मजबूत आपूर्ति श्रृंखलाओं के निर्माण के लिए महान अवसर और संभावनाएं हैं।

मेडेलीन किंग ने कहा, दोनों देश कार्बन उत्सर्जन घटाने, ऊर्जा सुरक्षा सुनिश्चित करने और महत्वपूर्ण खनिजों के साथ-साथ स्वच्छ प्रौद्योगिकियों के लिए वैश्विक बाजारों का विविधीकरण करने की दिशा में एक साथ मिलकर काम करने के लिए प्रतिबद्ध हैं।

[metaslider id="122584"]
[metaslider id="347522"]