मॉस्को , 03 फरवरी । स्टेलिनग्राद की लड़ाई की समाप्ति की 80वीं वर्षगांठ के मौके पर अपने भाषण में रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने यूक्रेन पर अपने देश के आक्रमण की तुलना नाजी जर्मनी के खिलाफ लड़ाई से की। गौरतलब है कि स्टेलिनग्राद की लड़ाई 23 अगस्त, 1942 से 2 फरवरी, 1943 के बीच लड़ी गई थी। द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान हुई यह सबसे घातक लड़ाई थी। इसमें एक अनुमान के मुताबिक दो मिलियन लोग मारे गए थे।
युद्ध के दौरान नाजी जर्मनी और उसके सहयोगियों ने स्टेलिनग्राद शहर के नियंत्रण के लिए सोवियत संघ से असफल लड़ाई लड़ी, जिसे बाद में वोल्गोग्राड नाम दिया गया। सोवियत सेना ने लगभग 91,000 जर्मन सैनिकों को पकड़ लिया, जो युद्ध का एक प्रमुख मोड़ था। रिपोर्ट के अनुसार गुरुवार को वोल्गोग्राड में एक स्मरणोत्सव कार्यक्रम में बोलते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि इतिहास खुद को दोहरा रहा है, क्योंकि जर्मनी ने यूक्रेन में टैंक भेजने का फैसला किया है।
उन्होंने कहा, यह अविश्वसनीय, लेकिन सच है, हमें फिर से जर्मन लेपर्ड टैंकों से खतरा है। गौरतलब है कि जर्मनी यूक्रेन को 14 लेपर्ड 2 टैंक भेजने पर सहमत हो गया है। पुतिन ने यह भी संकेत दिया कि वह पारंपरिक हथियारों से आगे बढ़ने का प्रयास कर सकते हैं। 70 वर्षीय नेता ने कहा, जो लोग युद्ध के मैदान में रूस को हराने की उम्मीद करते हैं, वे नहीं समझते हैं, ऐसा लगता है कि रूस के साथ एक आधुनिक युद्ध उनके लिए बहुत अलग होगा।
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हम अपने टैंकों को उनकी सीमाओं पर नहीं भेज रहे हैं, लेकिन हमारे पास जवाब देने के साधन हैं। यह बख्तरबंद हार्डवेयर के उपयोग तक सीमित नहीं होगा। सभी को यह समझना चाहिए। चूंकि रूस ने 24 फरवरी, 2022 को यूक्रेन पर अपना आक्रमण शुरू किया था, पुतिन ने चल रहे युद्ध को राष्ट्रवादियों और नाजि़यों के खिलाफ लड़ाई के रूप में पेश करने की मांग की है।
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