राजधानी जयपुर में 1 दिसंबर को हुई गैंगवार में पुलिस ने हैरान कर देने वाले खुलासे किए हैं. पुलिस ने बताया कि प्रताप नगर इलाके में महेन्द्र मीणा की गोली मार कर हत्या का मामला लड़कियों की सप्लाई और सट्टे के करोबार में हुई आपसी रंजिश से जुड़ा हुआ है जहां आपराधिक प्रवृति के मीणा को उसकी दुश्मन गैंग के विनित मेडी और उसके साथियों ने मौत के घाट उतारा था. पुलिस को जानकारी मिली है कि दोनों गैंग के बीच गैंगवार कॉल गर्ल्स की सप्लाई और रुपयों के लेन-देन के विवाद के चलते हुई थी जिसके बाद महेंद्र मीणा की हत्या कर दी गई. इस मामले में पुलिस ने विनित मेडी गैंग के चार बदमाशों सहित 8 आरोपियों को गिरफ्तार किया है. वहीं मुख्य आरोपी विनित और उसके तीन साथियों की अभी पुलिस तलाश कर रही है.
पुलिस ने मामले में भरत लाल मीणा, प्रियांशु मीणा, यादराम मीणा, किरोडी लाल और मोनू कटकड को गिरफ्तार किया है जो सभी करौली जिले के रहने वाले हैं. वहीं पुलिस ने आरोपियों के पास एक कार भी बरामद की है.
मामले की जानकारी देते हुए डीसीपी ईस्ट राजीव पचार ने बताया कि 2018-19 में महेन्द्र मीणा और विनित मेडी दोस्त हुआ करते थे और दोनों मिलकर एस्कॉर्ट सर्विस का ऑनलाइन धंधा करते थे. वहीं दो साल तक एक साथ काम करने के बाद दोनों में पैसों को लेकर विवाद हो गया और दोनों अलग-अलग हो गए.
कॉलगर्ल्स के धंधे को लेकर ठनी दुश्मनी
वहीं प्रताप नगर थाना प्रभारी भजनलाल ने जानकारी दी है कि कॉल गर्ल्स की सप्लाई और रुपयों के लेनदेन में महेन्द्र मीणा और विनित मेडी के बीच विवाद होने के बाद आए दिन बाहरी राज्यों से कॉलगर्ल्स मंगवाने पर दोनों के बीच झगड़ा होता था.
वहीं देह व्यापार के इस धंधे में दोनों के बीच वर्चस्व कायम करने की रंजिश पैदा हो गई. इसके बाद विनित मेडी गैंग ने महेन्द्र मीणा को मौत के घाट उतारने की योजना बनाई. विनीत ने बदमाशों को इकट्ठा कर महेंद्र की कई दिनों तक रैकी की और इसके बाद एक दिसंबर को गोली मारकर उसकी हत्या कर दी.
घटना के मुताबिक विनित मेडी अचानक अपने साथियों के साथ पहुंचा और महेन्द्र और उसके साथियों को घेर लिया. इस दौरान महेन्द्र और संदीप ने भागने की कोशिश की तो महेन्द्र के पीछे से गोली लग गई और कुछ ही सेकेंड बाद उसने वहां दम तोड़ दिया.
मुख्य आरोपी अभी भी फरार
वहीं डीसीपी ईस्ट राजीव पचार के मुताबिक हमला करने के बाद विनित मेडी और उसके साथ तुरंत जयपुर से बाहर भाग गए जहां पुलिस की कई टीमों ने उनका काफी पीछा लेकिन वह हाथ नहीं आए. फिलहाल पुलिस को पता चला है कि गैंगवार के बाद विनीत जयपुर से टोंक होते हुए अपने घर पहुंचा जहां से एक मोटर साइकिल लेकर वह भाग गया.
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