मुख्यमंत्री ने दुलार सिंह मंदराजी और बिसाहू दास महंत की जयंती पर उन्हें किया नमन

रायपुर । मुख्यमंत्री बघेल ने शुक्रवार को अपने निवास कार्यालय में लोककला ‘नाचा‘ के जनक माने जाने वाले स्वर्गीय दाऊ दुलार सिंह मंदराजी तथा स्वतंत्रता संग्राम सेनानी स्वर्गीय बिसाहू दास महंत की जयंती पर उनके चित्र पर पुष्प अर्पित कर उन्हें नमन किया । मुख्यमंत्री बघेल ने छत्तीसगढ़ी लोककला के संरक्षण में दाऊजी के अमूल्य योगदान को याद करते हुए कहा कि दाऊ मंदराजी ने ‘नाचा‘ को पुनर्जीवित करने और उसे बचाए रखने के लिए अपना पूरा जीवन समर्पित कर दिया।

उन्होंने नाचा को समाजिक कुरीतियों के प्रति जनचेतना जगाने का माध्यम बनाया। सीएम बघेल ने कहा कि दाऊजी ने लोक कलाकारों को संगठित कर छत्तीसगढ़ी नाचा-गम्मत को विश्वपटल पर स्थापित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। राज्य सरकार द्वारा कला के ऐसे सच्चे साधक के सम्मान और नाचा कला को अक्षुण्ण बनाए रखने के लिए दाऊ दुलार सिंह मंदराजी सम्मान दिया जाता है। उन्होंने कहा कि लोगों में नाचा कला को पुनर्स्थापित करने वाले लोक कलाकार का व्यक्तित्व अगली कई पीढ़ियों को प्रेरित करता रहेगा।

मुख्यमंत्री बघेल ने स्वतंत्रता संग्राम सेनानी और लोकप्रिय राजनेता स्वर्गीय बिसाहू दास महन्त को स्मरण करते हुए कहा कि उनका पूरा जीवन जनसेवा से जुड़ा रहा। स्व. महन्त ने अविभाजित मध्यप्रदेश में विधायक तथा मंत्री के रूप में प्रदेश के विकास के लिए अपनी अमूल्य सेवाएं दी।

हसदेव बांगो सिंचाई परियोजना उनके सपनों का साकार रूप है। उन्होंने लोगों की बेहतरी के लिए क्षेत्र में खेती-किसानी, सिंचाई तथा सड़कों के कार्यों को बखूबी अंजाम दिया। मुख्यमंत्री बघेल ने कहा कि स्वर्गीय बिसाहू दास महन्त के आदर्शों के अनुरूप नवा छत्तीसगढ़ के निर्माण के लिए राज्य सरकार संकल्पबद्ध हैं। उनके बताये जनकल्याण के मार्ग पर चलकर प्रदेश में विकास को नये आयाम देने की दिशा में कार्य किए जा रहे हैं।

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