महाराष्ट्र (Maharashtra) के पूर्व गृहमंत्री अनिल देशमुख (Anil Deshmukh) के खिलाफ लगे भ्रष्टाचार के आरोपों की जांच चल रही है. इस बीच आईपीएस अफसर परमबीर सिंह (Parambir Singh) ने दावा किया है कि एनसीपी नेता अनिल देशमुख ने सचिन वाजे (Sachin Waze) से बयान बदलने के लिए कहा था. प्रवर्तन निदेशालय (ED) के सामने अपना बयान दर्ज कराते हुए मुंबई पुलिस के पूर्व कमिश्नर ने आरोप लगाया कि जेल में वाजे पर दबाव बनाया गया था कि वो अपना बयान बदल लें. बता दें कि सचिन वाजे को साल 2021 में पुलिस सेवा से निलंबित कर दिया गया था. पिछले साल दिसंबर के महीने में सचिन वाजे ने जांच आयोग के सामने देशमुख को किसी भी तरह का पेमेंट देने से इनकार किया था. सचिन वाजे ने देशमुख के लिए किसी बार से पैसा वसूली करने की बात से भी इनकार कर दिया था.
रिटायर्ड जस्टिस के यू चांदीवाल आयोग परमबीर सिंह द्वारा देशमुख पर लगाए गए भ्रष्टाचार के आरोपों की जांच कर रहा है. देशमुख फिलहाल न्यायिक हिरासत में हैं. सीबीआई और ईडी भी इस मामले में अलग से जांच कर रही है. ईडी को दिये गये अपने बयान में परमबीर सिंह ने कहा, ‘मुझे सूत्रों से पता चला कि अनिल देशमुख ने 30 नवबंर, 2021 को चांदीवाल आयोग के कार्यालय में सचिन वाजे से मुलाकात की थी. इस दौरान उन्होंने सचिन वाजे से कहा था कि वो अपना बयान वापस ले लें.’
बिल्डिंग में हुई दोनों की बैठक
परमबीर सिंह ने वाजे और देशमुख के बीच उस बिल्डिंग में बैठक होने की बात कही है जिस बिल्डिंग में आयोग इस मामले की सुनवाई कर रहा है. परमबीर सिंह ने आरोप लगाया कि वाजे पर जेल में दबाव बनाया जा रहा है. इतना ही नहीं बयान बदलने के लिए उन्हें प्रताड़ित किया जाता है और यहां तक कि कपड़े उतारकर उनकी जांच भी की जाती है.
वाजे ने लगाए थे गृहमंत्री पर आरोप
बता दें कि मार्च 2021 में सचिन वाजे को गिरफ्तार किया गया था. उस वक्त वो असिस्टेंट कमिश्नर थे. उद्योगपति मुकेश अंबानी के घर एंटीलिया के नजदीक विस्फोटक से भरे एसयूवी के बरामद किये जाने और एक व्यापारी मनसुख हिरेन की मौत के बाद वाजे को गिरफ्तार किया गया था. वाजे ने पहले ईडी को अपने बयान में आरोप लगाया था कि गृहमंत्री बनने के बाद देशमुख ने उनसे बार और होटल से रंगदारी वसूलने के लिए कहा था.
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