न्यूनतम समर्थन मूल्य और मृतक किसानों को मुआवजा समेत कई मांगो को लेकर अड़े किसानों से केंद्र सरकार ने संपर्क किया है. सूत्रों के हवाले से खबर है कि केंद्र सरकार ने फिर कुछ किसान नेताओं से संपर्क साधा है. सूत्रों के अनुसार, किसानों की 5 सदस्यीय कमेटी की हरियाणा सरकार के अधिकारियों से एक अनौपचारिक बातचीत हो रही है. जिसमें हरियाणा के 48000 मुकदमों को वापस लेने पर चर्चा हो रही है. सूत्रों ने बताया कि मीटिंग गुप्त स्थान पर चल रही है. अधिकारी हरियाणा सरकार को पल पल की अपडेट दे रहे हैं. बातचीत के बाद संयुक्त किसान मोर्चा आगे का रुख साफ करेगा.
लिखित आश्वासन मिलने के बाद आंदोलन वापसी पर होगा फैसला
किसान नेता सूत्रों के मुताबिक किसान अब लिखित आश्वासन चाहते हैं, अनौपचारिक बातचीत पर भरोसा नहीं, ऐसे में केंद्र सरकार जल्द किसानों को उनकी मांगों पर लिखित आश्वासन दे सकती है.
हरियाणा में किसानों पर हुए मुक़दमों की वापसी पर सरकार किसानों को पत्र जारी कर सकती है. लिखित आश्वासन मिलने के बाद किसानों की कमेटी संयुक्त किसान मोर्चा के सामने बातचीत का ब्यौरा पेश करेगी, उसी के बाद किसान संगठन आंदोलन वापसी को लेकर फ़ैसला करेंगे.
ये हैं 6 मांगे:
1- MSP गारंटी कानून के लिए सरकार क्या करना चाहती है ? अगर कमेटी बनती है तो उसका स्वरूप क्या होगा?
2- पराली जलाने से जुर्माना हटा दिया लेकिन कानून की धारा 15 में जुर्माने का प्रावधान है, उसे भी हटाएं.
3- बिजली के लिए सरकार ने कहा कि कानून नहीं लाएंगे लेकिन संसद के प्रस्तावित बिलों की सूची में वो शामिल है.
4- आंदोलन में शहीद हुए किसानों को मुआवजा, आंकड़े ना होना हास्यास्पद था, नेशनल रिकॉर्ड ब्यूरो से आंकड़ा ले सकते हैं.
5- मृतकों के परिजनों को नौकरी दी जाए.
6- आंदोलन के दौरान के मुकदमों को वापस लेने के लिए अभी तक कुछ नहीं बताया, केवल तीन कानूनों को वापस लेने से हम वापस नहीं जाएंगे.
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