कोरिया। कलेक्टर श्याम धावड़े ने कलेक्टोरेट सभाकक्ष में जल संसाधन विभाग के कार्यों की समीक्षा की। कलेक्टर ने विभाग के अंर्तगत निर्मित सिंचाई योजनाओं की जानकारी ली। जल संसाधन विभाग के कार्यापालन अभियंता ने बताया कि जिले की रूपांकित सिंचाई क्षमता कुल 31 हज़ार 333 हेक्टेयर है।
जिसमें 22 हज़ार 488 हेक्टेयर खरीफ और 8 हज़ार 845 हेक्टेयर रबी शामिल है। जिले में 2 मध्यम एवं 94 लघु सिंचाई योजनाएं निर्मित हैं।
कलेक्टर धावड़े ने प्रस्तावित सिंचाई योजनाओं के निर्माण और जीर्णोद्धार कार्यों को स्वीकृति देते हुए कहा कि जिले में किसानों के हित में सिंचाई क्षमता बढ़ाने के लिए कार्यों की स्वीकृति दी जा रही है।
उन्होंने कहा कि काम गुणवत्तापूर्ण हो और अंतिम छोर तक किसानों को पानी की उपलब्धता हो। ईई जल संसाधन विभाग ने बताया कि सिंचाई योजनाओं के निर्माण और जीर्णोद्धार कार्यों के पूर्ण होने पर जिले की सिंचाई क्षमता 10 हज़ार हेक्टेयर तक बढ़ेगी। कोरिया जिले का निराबोया गया क्षेत्र 131270 हेक्टेयर है। कोरिया जिले में 2 मध्यम सिंचाई एवं 94 लघु सिंचाई योजनाएं निर्मित है तथा 02 लघु सिंचाई योजनाएं आांशिक रूप से पूर्ण है। जिनकी रूपांकित सिंचाई क्षमता 22488 हेक्टेयर खरीफ, 8845 हेक्टेयर रबी कुल 31333 हेक्टेयर है। वर्तमान में जिले का सिंचाई प्रतिशत 23.86 प्रतिशत है। समस्त योजनाओं का जल भराव क्षमता 122.14 मिलियन घन मीटर है। वर्तमान में जलाशयों में 72.98 मिलियन घन मीटर जल उपलब्ध है जो कि रूपांकित भराव क्षमता का 59.08 प्रतिशत है। निर्माणाधीन सिंचाई योजना जिले के अंतर्गत सिंचाई के क्षेत्र में वृद्वि करने हेतु 14 लघु सिंचाई योजनाओं का निर्माण कार्य प्रगति पर है।
9 निर्मित लघु सिंचाई योजनाओं के जीर्णोद्वार का कार्य प्रगति पर है। योजनाओं के पूर्ण होने से जिले के सिंचाई प्रतिशत में 4.18 प्रतिशत वृद्वि होकर 28.04 प्रतिशत हो जायेगा। मनरेगा मद अंतर्गत नहर मरम्मत एंव लाईनिंग के 40 कार्य स्वीकृत है जो प्रगति पर है। तथा जिला खनिज संस्थान न्यास मद अंतर्गत कुल 67 कार्य स्वीकृत किये गये थे जिनमें 59 कार्य पूर्ण हो चुका हैै। बैठक में जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी कुणाल दुदावत, जल संसाधन विभाग के कार्यपालन अधिकारी एवं विभागीय अधिकारी-कर्मचारी उपस्थित थे।
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