उत्तर प्रदेश के नोएडा जिले में एक महिला पुलिसकर्मी के प्यार में पागल शख्स ने अपनी पत्नी और 2 मासूम बच्चों को मौत के घाट उतार दिया और उनके शव को घर के बेसमेंट में गाड़ दिया। इसके बाद अपने दोस्त की हत्या कर अपनी निशानी छोड़कर खुद की मौत का नाटक रचा और अपनी प्रेमिका के साथ पहचान छिपाकर रह रहा था। लेकिन दोस्त की हत्या की जांच कर रही कासगंज पुलिस ने शक के आधार पर उसे गिरफ्तार कर लिया। जब पूरा मामला खुला तो आरोपी ने अपनी पत्नी और बच्चों की हत्या करने की बात कबूल कर ली।
अब पुलिस बेसमेंट की खुदाई कर आरोपी के बयान की पुष्टि करने के साथ सबूत इकट्ठा करने में लग गई है। पूरा मामला नोएडा के बिसरख थानाक्षेत्र के चिपियाना बुर्ज गांव की पंच बिहार कॉलोनी का है, लेकिन खुदाई का काम कासगंज पुलिस कर रही है।
ये है पूरा मामला
प्राप्त जानकारी के अनुसार, इसी मकान में राकेश रहता था, जिसकी शादी साल 2012 में एटा की रहने वाली महिला रत्नेश के साथ हुई थी।लेकिन राकेश का प्रेम प्रसंग गांव में रहने वाली रूबी से चल रहा था, जो कि 2015 में यूपी पुलिस में कांस्टेबल के पद पर तैनात हुई थी। जब रूबी ने राकेश पर शादी का दबाव बनाया तो उसने 14 फरवरी 2018 को अपनी पत्नी रत्नेश और दोनों बच्चों (3 साल के अर्पित और 2 साल की अवनी) को मार डाला और उनकी लाश को घर के बेसमेंट में दफना दिया। यही नहीं, किसी को इसकी भनक न लगे, इसके लिए उसने ऊपर से सीमेंट का फर्श बना दिया।
अपनी पहचान छिपाने दोस्त की भी हत्या
इस खौफनाक वारदात में राकेश के पिता बनवारी लाल, मां इंदुमती, भाई राजीव और प्रवेश शामिल थे। राकेश के पिता पुलिस से रिटायर्ड हैं। राकेश अपनी पत्नी और बच्चों की हत्या करने के बाद पहचान छिपाकर प्रेमिका रूबी के साथ रह रहा था। उसे डर था कि कहीं उसकी पहचान सबके सामने न आ जाए, इसलिए उसने एक और हत्या की योजना बनाई। राकेश ने 25 अप्रैल 2021 को अपने दोस्त की भी हत्या कर दी और उसके शव को बुरी तरह कुचल दिया, ताकि उसकी पहचान न हो सके।
इसके बाद आरोपी ने अपना आधार कार्ड और एलआईसी के पेपर अपने दोस्त के शव के पास रख दिए ताकि पुलिस को लगे कि उसकी हत्या हुई है। जब कासगंज की ढोलना पुलिस ने इस हत्या के मामले की जांच शुरू की तो शक की सुई राकेश पर जा अटकी। पुलिस ने जब उसे पकड़कर सख्ती से पूछताछ की तो उसने पूरा सच उगल दिया।
मुहोब्बत की सनक में हंसते खेलते परिवार का खात्मा
महिला कॉन्स्टेबल की मुहोब्बत में पूरी तरह अंधे हो चुके राकेश ने अपने हंसते खेलते परिवार को खत्म कर डाला । सबसे बड़ी हैरानी की बात ये है कि इस जघन्य वारदात में राकेश के माता – पिता और भाइयों ने भी उसका साथ दिया । आखिर बुरे काम का अंजाम बुरा ही होता है । अपराधी कितना भी शातिर क्यों न हो कहीं ना कहीं सुराग छोड़ ही जाता है । फिलहाल पुलिस सभी आरोपियों को गिरफ्तार कर आगे कार्रवाई में जुट गई है।
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