नई दिल्ली/रायपुर। छत्तीसगढ़ में ढाई साल बाद मुख्यमंत्री वाले विवाद के बीच शुक्रवार को दिनभर प्रदेश में राजनीतिक गर्मी रही। इसी बीच खबर आई थी कि हाईकमान ने प्रदेश के अपने सभी विधायकों को दिल्ली बुलाया है। इन सबके बीच कांग्रेस के छत्तीसगढ़ प्रभारी पीएल पुनिया नई दिल्ली के एक टीवी चैनल को दिए बयान में कहा है कि हाईकमान ने किसी विधायक को दिल्ली नहीं बुलाया है। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष मोहन मरकाम ने भी कहा है कि पार्टी आलाकमान ने किसी भी विधायक को दिल्ली नहीं बुलाया है।
बता दें कि गुरुवार शाम रायपुर एक चार्टर प्लेन पहुंचने की खबर है। यह प्लेन सुबह विधायकों को लेकर दिल्ली जाएगा। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल भी शुक्रवार सुबह दिल्ली जाएंगे। बताया जा रहा है, कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी इस बैठक की अध्यक्षता कर सकती हैं। संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल और प्रभारी महासचिव पीएल पुनिया भी इसमें शामिल होंगे। कांग्रेस पार्टी और सरकार की पूरी नजर इस बैठक पर टिकी है।
बता दें कि स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव पहले से ही दिल्ली में हैं। दरअसल 2018 में छत्तीसगढ़ में कांग्रेस सरकार बनने के साथ ही यह मुद्दा सामने आया था कि पार्टी ने ढाई साल बाद सरगुजा के वरिष्ठ नेता टीएस सिंहदेव को मुख्यमंत्री बनाने का वादा किया है। 16 जून 2021 को सरकार के ढाई साल पूरे होने के बाद यह मुद्दा फिर खड़ा हो गया।
दिल्ली में नेताओं का जमावड़ा
इस बीच दिल्ली में छत्तीसगढ़ के कांग्रेस नेताओं का जमावड़ा बढ़ता जा रहा है। गृह मंत्री ताम्रध्वज साहू 18 अगस्त से ही दिल्ली में जमे हुए हैं। खाद्य मंत्री अमरजीत भगत आज शाम को दिल्ली जा रहे हैं। नगरीय प्रशासन मंत्री डॉ. शिव डहरिया भी दिल्ली पहुंच रहे हैं। संसदीय सचिव विकास उपाध्याय भी गुरुवार को दिल्ली पहुंच गए। राज्यसभा सांसद फूलोदेवी नेताम भी कल दिल्ली पहुंच रही हैं। विधानसभा अध्यक्ष डॉ. चरणदास महंत 28 अगस्त को दिल्ली जा रहे हैं। हालांकि, सभी दिल्ली जाने की अलग-अलग वजह बता रहे हैं।
मुख्यमंत्री निवास पहुंचे भूपेश समर्थक विधायक
बताया जा रहा है, मुख्यमंत्री भूपेश बघेल खेमे के दर्जन भर विधायक मुख्यमंत्री निवास पहुंचे हैं। विधायक चंद्रदेव राय के जन्मदिन के बहाने रायपुर सर्किट हाउस जुटे विधायक थोड़ी देर की चर्चा के बाद सीएम हाउस गए। इनमें बृहस्पत सिंह, चंद्रदेव राय, यूडी मिंज, विनय जायसवाल ,गुलाब कमरो, गुरुदयाल बंजारे, पुरुषोत्तम कंवर, कुंवर निषाद, चिंतामणि महाराज, भुनेश्वर बघेल, रश्मि सिंह आदि शामिल थे।
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