एसईसीएल में विश्व पर्यावरण दिवस मनाया गया

बिलासपुर 5 जून (वेदांत समाचार) एसईसीएल मुख्यालय बिलासपुर में विश्व पर्यावरण दिवस 2021 मनाया गया। वर्ल्ड इन्वायरमेंट डे-2021 की थीम-रीइमेजिंन, रीक्रिएट, रीस्टोर है। इस अवसर पर मुख्यालय बिलासपुर प्रांगण में आयोजित समारोह में सीएमडी एसईसीएल ए.पी. पण्डा ने ध्वजारोहण किया तथा कोल इण्डिया कॉरपोरेट गीत बजाया गया। श्री पण्डा ने उपस्थितों को पर्यावरण प्रतिज्ञा दिलाई जिसमें पर्यावरण संवर्धन एवं संरक्षण पर जोर दिया गया। इस अवसर पर महाप्रबंधक (पर्यावरण) अक्षय बापट द्वारा कोलइण्डिया चेयरमेन के पर्यावरण दिवस संदेश का पठन किया गया। मुख्यालय के इस समारोह मुख्य सतर्कता अधिकारी बी.पी. शर्मा, निदेशक तकनीकी (संचालन) एम.के. प्रसाद, निदेशक (वित्त/कार्मिक) एस.एम. चौधरी, निदेशक तकनीकी (योजना/परियोजना) एस.के. पाल, महाप्रबंधक (पर्यावरण) अक्षय बापट, महाप्रबंधक (कार्मिक/प्रशासन) ए.के. सक्सेना सहित विभिन्न विभागाध्यक्षों, श्रमसंघ/यूनियन व एसोसिएशन के पदाधिकारियों, अधिकारियों-कर्मचारियों की उपस्थिति रही।

मुख्यालय प्रांगण उपरांत टीम नेहरू शताब्दी नगर कॉलोनी स्थित गाँधी उद्यान पहुंची जहाँ शीर्ष प्रबंधन द्वारा फलदार एवं औषधीय गुणों से युक्त आदि पौधों का रोपण किया गया। नेहरू शताब्दी नगर के आयोजन में श्रद्धा महिला मण्डल की टीम भी उपस्थित हुई। इसमें अध्यक्षा श्रीमती पुष्पिता पण्डा, उपाध्यक्षा श्रीमती संगीता शर्मा, श्रीमती पिंकी प्रसाद, श्रीमती कल्पना चौधरी व श्रीमती रीता पाल, श्रद्धा महिला मण्डल की सचिव श्रीमती सरोजा नायक, श्रीमती डोलन डे, श्रीमती शालू साहू, श्रीमती सुष्मिता मांझी व प्रभा चौधरी व अन्य सदस्याएँ प्रमुखतया उपस्थित रहे। श्रद्धा महिला मण्डल की अध्यक्षा एवं उपाध्यक्षागणों द्वारा वृक्षारोपण सम्पन्न हुआ। इस अवसर पर अपने सम्बोधन में सीएमडी एसईसीएल ए.पी. पण्डा ने कहा कि पर्यावरण संरक्षण एवं संवर्धन हमारी जिम्मेदारी है तथा हम सबको चाहिए कि इस अवसर पर कम से कम एक पौधा जरूर लगाएँ तथा कम से कम साल भर तक उसकी देखभाल अवश्य करें। हरा-भरा पर्यावरण हम सबको दीर्घायु जीवन प्रदान करता है। विदित हो कि एसईसीएल द्वारा कोयला उत्पादन के साथ-साथ पर्यावरण संवर्धन की दिशा में भी निरंतर प्रयास किए जाते रहे हैं।

वित्तीय वर्ष 2020-21 में एसईसीएल ने लगभग 270 हेक्टेयर क्षेत्र में 6 लाख ७५ हजार पौधे लगाए हैं। खदानों से निकले जल के रूप में लगभग 220 लाख किलो लीटर पानी उपलब्ध कराया गया जिसे सामुदायिक उपयोग के रूप में लगभग 1.5 लाख लोगों को लाभ हुआ तथा 2168 एकड़ कृषि भूमि सिंचित हुई। कम्पनी ने अपने संचालन क्षेत्रों में 25 आर.ओ. वाटर प्लांट (1000 एलपीएच क्षमता प्रत्येक) की स्थापना की है। अनन्य वाटिका हसदेव क्षेत्र मध्यप्रदेश एवं बिश्रामपुर ओसी छत्तीसगढ़ में इको-टूरिज्म केन्द्र की स्थापना की गयी है। कम्पनी अगले 3 वर्षों में 142.15 मेगावाट क्षमता के सोलर पावर प्लांट लगाए जाने की दिशा में कार्य कर रही है। कोरबा जिले में ओव्हरबर्डन से रेत निकालने के लिए प्लांट लगाने की योजना भी विचाराधीन है। विश्व पर्यावरण दिवस के अवसर पर कम्पनी ने कोयलाँचल में पर्यावरण को संरक्षित एवं संवर्धित बनाए रखने की अपनी प्रतिबद्धता को दोहराया।