शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती ने राष्ट्रपिता की पदवी पर सवाल उठाए, गौ-रक्षा के लिए मोदी सरकार की आलोचना की

रायपुर,07 अक्टूबर (वेदांत समाचार)  ज्योतिषपीठाधीश्वर शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती गौ माता को राष्ट्रमाता बनाने के लिए गौ प्रतिष्ठा आंदोलन कर रहे है। गौ-ध्वज स्थापना यात्रा रायपुर पहुंची। रायपुर के दीनदयाल ऑडिटोरियम में आयोजित प्रेस कांफ्रेस में उन्होने में महात्मा गांधी को राष्ट्रपिता नहीं बताया है। वही शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती के बयान मोदी गौ-हत्या के एजेंट वाले बयान का भी समर्थन किया है।

स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ने कहा कि राष्ट्रपिता नाम की कोई चीज हमारे यहां नहीं है। भारत कब से है यह कोई नहीं जानता। इसका जन्म देने वाला कोई नहीं है। जब पाकिस्तान बना और पाकिस्तान के कायदे आजम वहां के राष्ट्रपिता मोहम्मद अली जिन्ना बने क्योंकि वह नया जन्मा था। लेकिन भारत पहले से था। भारत को किसी ने नहीं जन्मा है इसलिए भारत में कोई भी राष्ट्रपिता की पदवी पर प्रतिष्ठित नहीं किया जा सकता है।

अंबिकापुर में पुरी पीठ के शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती के बयान कि गौ-रक्षा के लिए आए मोदी, गौ-हत्या के एजेंट हो गए हैं का समर्थन किया है। उन्होंने सवाल पूछे जाने पर कहा कि उन्होनें ने कोई गलत बात नही कही है। स्वामि अविमुक्तेश्वरानंद ने कहा कि हम मोदी जी से आशा कर रहे थे। जब 2014 में आम चुनाव हुए थे तब मोदी जी ने वक्तव्य दिया था। गुलाबी रंग की क्रांति की जा रही है। वह इंटरनेट पर भी है। आपका हृदय दहलता है कि नहीं, मेरा हृदय दहलता है, मैं दुखी होता हूं, वह वीडियो देखकर हमने उन्हें वोट दिया था कि अगर यह व्यक्ति आएगा तो गौ हत्या बंद कर देगा।