CG BREAK : हाथी ने बुजुर्ग को पटक-पटककर मार डाला, दूसरे भाई को भी सूंड से जकड़ा, घर को किया क्षतिग्रस्त, चार दिन में दूसरी मौत

छत्तीसगढ़ के बलरामपुर-रामानुजगंज जिले में हाथी ने घर के बाहर सो रहे बुजुर्ग को सूंड से उठाकर पटका और पैरों से कुचल दिया, जिससे उसकी मौके पर मौत हो गई। ग्रामीण के चचेरे भाई को भी हाथी ने सूंड से पकड़ लिया था, लेकिन वह बच गया। रामानुजगंज हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया है। पूरा मामला धमनी वन परिक्षेत्र का है।

जानकारी के मुताबिक, अनिरूद्धपुर में बीती रात करीब डेढ़ बजे अपने दल से अलग होकर हाथी विचरण कर रहा था। इसी बीच बस्ती में हाथी घुसा। इस दौरान घर के बाहर बाबूलाल सिंह (64) और उसके चचेरे भाई शिवनाथ सिंह एक ही खाट पर सो रहे थे। हाथी उनके खाट के पास पहुंच गया।

पटककर कुचलने से ग्रामीण की मौत

पटककर कुचलने से ग्रामीण की मौत

पटकने के बाद पैरों से कुचला

हाथी ने शिवनाथ सिंह के सीने पर पैर धीरे से रखा और उसे सूंड से लपेटने का प्रयास किया। शिवनाथ सिंह हाथी के चंगुल से छूटकर निकला गया और घर के अंदर घुस गया। वहीं बाबूलाल सिंह नहीं भाग सका। हाथी ने उसे सूंड से उठा लिया और करीब पांच मीटर दूर ले जाकर पटक दिया।

मौके पर जांच करता वनअमला

मौके पर जांच करता वनअमला

पत्नी ने उठाया, लेकिन नहीं उठा बुजुर्ग

देर रात जब हाथी बाबूलाल के घर तरफ बढ़ा तब कुछ दूर पर बंधे गाय-बैल हाथी को देखकर उछल-कूद करने लगे। बाबूलाल सिंह की पत्नी परछी में सो रही थी। हाथी के आने का आभास हुआ। उसने बाबूलाल सिंह और शिवनाथ को उठाने की कोशिश की, लेकिन वह नहीं उठे तो वह घर के अंदर चली गई,जिससे उसकी जान बच गई।

हाथी ने घर को किया क्षतिग्रस्त

हाथी ने घर को किया क्षतिग्रस्त

देर रात पहुंचा वन अमला

घटना की सूचना पर देर रात धमनी रेंजर अजय वर्मा सहित वन अमला मौके पर पहुंचा। वन अमले ने ग्रामीणों को हाथी के मौजूदगी की सूचना दी और पास के जंगलों में न जाने की सलाह दी है। हाथी पास के जंगलों में डटा हुआ है, जिससे ग्रामीण दहशत में हैं।

चार दिनों में दूसरी घटना, इलाके में दहशत

हाथी के हमले में मंगलवार की रात बगरा मोड़ के पास पैदल लौट रहे धमनी निवासी ग्रामीण राजाराम सिंह (45) को सूंड से लपेटकर पटक दिया। हाथी के हमले में उसकी मौत हो गई। रामानुजगंज वन परिक्षेत्र से निकलकर हाथी धमनी रेंज में पहुंच गया है।

हाथी के विचरण की जानकारी होने के बावजूद वन अमले ने हाथी को ट्रैक नहीं किया और मुनादी भी नहीं कराई। इसे लेकर ग्रामीणों में आक्रोश है।