KORBA में बालगृह से दो नाबालिग बालक फरार, शौचालय की दीवार कूद कर भागे, कुछ घंटे पहले महिला बाल विकास अधिकारी ने किया था निरीक्षण

कोरबा जिले के शासकीय बाल संप्रेक्षण गृह से सोमवार सुबह दो नाबालिक बालक फरार हो गए। बालगृह का संचालन कुक और हाउस कीपर के भरोसे हैं। कटघोरा और पाली थाना क्षेत्र में अनाचार की घटना के मामले में पुलिस ने दो नाबालिक बालक के खिलाफ प्रावधानिक कार्रवाई की थी। सूचना पर सिविल लाइन थाना पुलिस बाल गृह में लगे सीसीटीवी कैमरे के आधार पर जांच शुरू की।

खास तो यह है कि रविवार रात में ही महिला और बाल विकास विभाग की जिला कार्यक्रम अधिकारी रेणु प्रकाश निरीक्षण के लिए बाल संप्रेक्षण गृह पहुंची थी। उन्होंने बालकों से चर्चा के बाद सुरक्षा व्यवस्था दुरुस्त करने के निर्देश जारी किए थे। उनके निरीक्षक को महज कुछ ही घंटे बीते थे कि बालक भाग कर व्यवस्था की पोल खोल कर रख दी।

अनाचार मामले में दो नाबालिक बालक को बाल संप्रेषण गृह भेजा गया था

जानकारी के मुताबिक, दोनों नाबालिक बालक को सिविल लाइन थाना अंतर्गत रिसदी चौक बाल संप्रेषण गृह में भेजा गया था। रोजाना की तरह रात में भोजन बाद बालगृह को बंद कर दिया गया था।दोनों बालक भी अन्य अपचारी बालकों की तरह अपने बेड में सोने चले गए।

शौचालय की दीवार के सहारे कूद कर फरार

सोमवार सुबह उनकी नींद खुली और वे शौच के बहाने बाल संप्रेक्षण गृह के पीछे हिस्से में पहुंचे। इसके बाद शौचालय की दीवार के सहारे कूद कर फरार हो गए। बताया जा रहा है कि घटना के कुछ ही देर पहले सुरक्षा में तैनात नगर सैनिक संतोष केवट राउंड के बाद मुख्य द्वार में बैठा था।

कमरे में नहीं पहुंचे तो फरार होने की लगी जानकारी

वहीं अपचारी बालक के फरार होने की जानकारी तब लगी जब वह काफी देर तक कमरे में नहीं पहुंचे। यह खबर फैलते ही हड़कप मच गया और इसकी सूचना बालक के परिजनों को दी गई और बालक के घर पहुंचने पर तत्काल अवगत कराने को कहा गया।

बालगृह में 4 कर्मचारी ही कार्यरत

बता दें कि बाल संप्रेक्षण गृह के संचालन के लिए 16 अधिकारी कर्मचारी का सेटअप तैयार है लेकिन 4 कर्मचारी ही कार्यरत हैं। बाल संप्रेक्षण गृह का संचालन कुक और हाउस कीपर के भरोसे चल रहा है। उन पर ही विभाग पूरी तरह निर्भर है, जिसका सीधा असर व्यवस्था पर पड़ रहा है।