नई दिल्ली । बहुउद्देश्यीय हेलीकॉप्टर एमएच 60 आर सीहॉक को छह मार्च को आईएनएस गरुड़, कोच्चि में नौसेना के बेड़े में विधिवत रूप से शामिल किया जाएगा। यह हेलिकॉप्टर पनडुब्बियों का पता लगाकर उन्हें धवस्त करने में सक्षम है। यह दिन देश की रक्षा आधुनिकीकरण की यात्रा में एक महत्वपूर्ण पड़ाव होगा।
सीहॉक्स स्क्वाड्रन को आईएनएएस 334 के रूप में नौसेना में शामिल किया जाएगा। यह हेलीकॉप्टर अमेरिकी सरकार के साथ हुए अनुबंध का हिस्सा है। सीहॉक्स के शामिल होने से नौसेना की समुद्री ताकत में उल्लेखनीय वृद्धि होगी। हेलीकॉप्टर को पनडुब्बी रोधी युद्ध, बारूदी सुरंग रोधी युद्ध , खोज और बचाव और चिकित्सा के लिए सैनिकों की निकासी के लिए डिज़ाइन किया गया है। इस हेलीकॉप्टर का भारतीय स्थितियों में कड़ाई से परीक्षण किया गया है। उन्नत हथियार, सेंसर और एवियोनिक्स सूट सीहॉक को नौसेना की समुद्री सुरक्षा आवश्यकताओं के लिए आदर्श बनाते हैं, जो पारंपरिक और असममित दोनों खतरों के लिए उन्नत क्षमताएं प्रदान करते हैं।
एमएच 60 आर हेलीकॉप्टर भारत की समुद्री क्षमताओं को बढ़ाएगा, नौसेना की परिचालन पहुंच का विस्तार करेगा और स्पेक्ट्रम और विशाल समुद्री डोमेन में निरंतर नौसैनिक संचालन को मज़बूत बनाएगा। सीहॉक की हिन्द महासागर क्षेत्र में तैनाती नौसेना की समुद्री उपस्थिति को मजबूत करेगी, संभावित खतरों को दूर करेगी और रणनीतिक रूप से महत्वपूर्ण इस क्षेत्र में एक सुरक्षित वातावरण सुनिश्चित करेगी।
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