नई दिल्ली । आगामी दिनों में पूरे देश में लोकसभा चुनाव होना है, जिसके लिए सभी राजनीतिक दलों ने तैयारी शुरू कर दी है। जहां एक ओर सत्ताधार पार्टी इस बार 400 पार का नारा लिए हुए मैदान में उतर रही है तो दूसरी ओर विपक्ष की कांग्रेस पार्टी भी भारत जोड़ो न्याय यात्रा के माध्यम से जनता के बीच पहुंच रही है। लेकिन इस बीच निर्वाचन आयोग ने लोकसभा चुनाव के लिए निर्देश जारी किया है, जिसका सभी राजनीतिक दलों को पालन करना अनिवार्य होगा। तो चलिए जानते हैं निर्वाचन आयोग ने क्या नई गाइडलाइन बनाई है।
निर्वाचन आयोग की ओर से राजनीतिक दलों के लिए जारी दिशाा निर्देश के अनुसार चुनाव के दौरान लोकसभा चुनाव में कोई भी राजनीतिक दल के द्वारा बच्चों का उपयोग चुनाव प्रचार के दौरान नहीं किया जा सकता है। चुनाव आयोग ने अपने बयान में कहा कि आयोग किसी भी तरह से राजनीतिक अभियान में बच्चों के भागीदारी पर रोक लगाता है, जैसे बच्चों द्वारा कविता पाठन हो, उनके द्वारा किसी पार्टी को लेकर बोले गए शब्द हो या फिर किसी भी राजनीतिक पार्टी या उम्मीदवार के प्रतीक चिन्ह का प्रदर्शन शामिल हो।
देखिए निर्वाचन आयोग की गाइडलाइन
चुनाव आयोग के मुताबिक, राजनीतिक दलों को स्पष्ट रूप से निर्देश दिया गया है कि वे किसी भी चुनाव में बच्चों को शामिल नहीं करें।
साथ ही रैलियों, नारे लगाने, पोस्टर वितरित करने सहित अभियान से बच्चों को दूर रखें।
इसके अलावा चुनाव प्रचार या रैलियों के दौरान राजनीतिक नेताओं और उम्मीदवारों को अपने वाहन में बच्चे को गोद में रखने या ले जाने की भी अनुमति नहीं है।
चुनाव आयोग ने बच्चों के किसी और तरीके के इस्तेमाल पर भी प्रतिबंध लगाया है।
हालांकि, अपने माता-पिता के साथ मौजूदगी को बच्चों के लिए चुनाव आयोग द्वारा जारी दिशानिर्देशों का उल्लंघन नहीं माना जाएगा।
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