कोरबा नगर निगम में नल जल योजना में भारी भ्रस्टाचार, उच्च स्तरीय जांच कर अधिकारियों के सेवा पुस्तिका में हो दर्ज:- बद्री अग्रवाल

कोरबा ,19 जून । भारतीय जनता युवा मोर्चा के प्रदेश कार्यसमिति सदस्य, मरवाही विधानसभा के प्रभारी बद्री अग्रवाल ने कहा कि देश के यशस्वी प्रधानमंत्री माननीय नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व में भारतीय जनता पार्टी सरकार की एक महत्वकांक्षी योजना जल जीवन मिशन के तहत हर घर में पानी देने की योजना है इस योजना के तहत हर घर में नल लगाने की प्रक्रिया जारी है जिसमे भारी भ्रस्टाचार हो रहा है, केंद्र सरकार द्वारा हर घर नल योजना का शुभारंभ किया गया है। इस योजना के माध्यम से देश के प्रत्येक घर तक स्वच्छ पानी उपलब्ध करवाया जाएगा।

जिसके लिए सरकार द्वारा प्रत्येक घर तक नल का कनेक्शन उपलब्ध करवाया जाएगा। इस योजना के अंतर्गत प्रत्येक घर तक स्वच्छ पानी उपलब्ध करवाने का लक्ष्य 2030 निर्धारित किया गया था। जिसे अब 2024 कर दिया गया है। हर घर नल योजना को जल जीवन मिशन के नाम से भी जाना जाता है। इस योजना के माध्यम से स्वच्छ पानी उपलब्ध हो सकेगा। अब देश के प्रत्येक घर में स्वच्छ पीने का पानी उपलब्ध होगा जिससे कि देश के नागरिकों के स्वास्थ्य में भी सुधार आएगा, इसके अलावा यह योजना देश के नागरिकों को जीवन स्तर में भी सुधार करेगी। अब देश के नागरिकों को पानी लेने के लिए कहीं दूर जाने की भी आवश्यकता नहीं पड़ेगी। क्योंकि सरकार द्वारा उनके घर में पानी की उपलब्धता सुनिश्चित की जाएगी, इस योजना का लक्ष्य 55 लीटर प्रति व्यक्ति प्रतिदिन की दर से पीने योग्य जल उपलब्ध करवाना है |



श्री अग्रवाल ने किन्तु इसके विपरीत कोरबा नगर निगम में नल जल योजना सिर्फ कागजों में ही सिमट कर रह गयी है, केंद्र सरकार द्वारा 300 करोड़ से अधिक की राशि कोरबा नगर निगम को दी गयी थी किन्तु अधिकारी अपने लाभ के लिए ठेकेदार के साथ मिलकर भारी भ्रस्टाचार किया जा रहा है जिसके कारण लोगो को शुद्ध पीने का पानी भी नहीं मिल ल रहा है, कोरबा की जनता पीने के शुद्ध पानी के किए तरस रही है और अधिकारी भ्रस्टाचार कर करोड़ो रूपये का बंदरबांट कर रहे है, सभी जगह नई पाइप लाइन बिछाई जानी थी लेकिन भ्रष्टाचार करने के लिए पुरानी पाइप लाइन के साथ जोड़ दिया गया है, जहां सड़क व कंक्रीट खोदे गए थे उसे पाइपलाइन डाले जाने के उपरांत विभाग के अधिकारी द्वारा निर्धारित मापदंड के अनुरूप रिपेयर नहीं कराया गया साथ ही उसे ठेका कंपनी ना करके अधिकारी अपने निजी ठेकेदारों से पेटी में करवा रहे हैं ऐसे में ठेकेदार के साथ अधिकारी की संलिप्तता भ्रष्टाचार को स्पष्ट करती है, उक्त विषय की उच्च स्तरीय जांच होनी चाहिए साथी ही अधिकारियों के सेवा पुस्तिका में जांच दर्ज होना चाहिए |

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