कोरबा,07 जून (वेदांत समाचार )। शहर की सड़कों पर यातायात का दबाव बढ़ता ही जा रहा है। राज्य गठन के समय जिले में पंजीकृत वाहनों की संख्या 20 हजार के करीब थी, जो बढ़कर 3 लाख से अधिक हो गई है। इस तरह 15 गुना वाहन बढ़ गए। दूसरी ओर शहर में नए-नए व्यवसायिक केंद्र और दुकानें तो खुल रही है पर पार्किंग की समस्या है। सड़क पर वाहनों की पार्किंग से भी शाम होते ही जाम की स्थिति निर्मित होती है। शहर के आसपास सड़कों पर भारी वाहनों का दबाव रहता है। अब तो सड़क पर भी पार्किंग होने लगे हैं। इस ओर ध्यान नहीं दिया गया तो आने वाले दिनों में समस्या और बढ़ेगी।औद्योगिक जिला होने की वजह से बाहर से भी भारी वाहन पहुंचते हैं। इस वजह से बाईपास और रिंग रोड में भी भारी वाहनों का दबाव रहता है। जिन लोगों के पास वाहन हैं उनके पास पार्किंग की व्यवस्था नहीं होने से सड़क किनारे ही वाहन पार्क कर देते हैं। हर साल बाइक की संख्या 13 से 15 हजार तक बढ़ रही है।
कोयला परिवहन करने वाले वाहन भी बढ़े हैं। पावर हाउस रोड पर बने व्यवसायिक परिसर में तो पार्किंग है। लेकिन मुख्य मार्ग पर बड़े संस्थानों के पास इसकी व्यवस्था नहीं है। सबसे बड़ी समस्या कार पार्किंग की होती है। निगम ने मल्टीलेवल पार्किंग का निर्माण तो कराया पर कोई भी वहां से मार्केट जाना नहीं चाहता। टीपी नगर बाईपास पर 24 घंटे भारी वाहन सड़क किनारे खड़े रहते हैं। यही हाल उपनगरीय क्षेत्र बालको, दर्री क्षेत्र की भी है। निहारिका, घंटाघर मार्ग पर भी शाम को भीड़ बढ़ जाती है। वहां भी लोगों को पार्किंग के लिए जगह ढूंढनी पड़ती है। नगर निगम भी इस ओर ध्यान नहीं दे रहा है। जिसके कारण भी लोगों को परेशानी उठानी पड़ती है।
शहर के बाहर सड़कों की बढ़ रही चौड़ाई पर पुलें सकरी शहर में भारी वाहन ना घुसें इसके लिए सड़कों की चौड़ाई बढ़ाई जा रही है। सीएसईबी चौक से दर्री बराज तक फोरलेन बन चुकी है। इसके आगे गोपालपुर तक टू-लेन सड़क बन रही है। लेकिन इसके बीच पुलों की चौड़ाई नहीं बढ़ी। सुनालिया चौक के पास दोनों ओर तिराहे होने से रोज जाम लग रहा है। इसकी चौड़ाई का प्रस्ताव आगे नहीं बढ़ी।
पार्किंग के बिना भवन निर्माण की अनुमति नहीं मिलती
व्यवसायिक भवन हो या आवासीय भवन इसके लिए निगम से अनुमति लेना होता है। दोनों ही दोनों की अनुमति के लिए पार्किंग का स्पेस रखना होता है। लेकिन शहर में अधिकांश व्यवसायिक परिसरों में पार्किंग की व्यवस्था नहीं है। इसकी वजह से ही लोग घरों के बाहर वाहनों को पार्किंग करते हैं। दुकानों के सामने सड़क पर वाहन पार्किंग हो रही है । लेकिन कार्रवाई नहीं होती है।
बिना पार्किंग निर्माण की अनुमति नहीं. अपर आयुक्त
निगम के अपर आयुक्त खजांची कुम्हार का कहना है कि व्यवसायिक परिसर निर्माण के लिए बिना पार्किंग के अनुमति नहीं देते हैं। आवासीय भवनों में गार्डन और पार्किंग का स्पेस रहता ही है। यातायात की समस्या ना हो इसके लिए प्रयास किया जा रहा है।
सड़क पर पार्किंग रोकने कार्रवाई: यातायात प्रभारी – यातायात विभाग के प्रभारी डीएसपी शिवचरण परिहार का कहना है कि रोड पर वाहन खड़ी ना हो और यातायात प्रभावित ना हो इसके लिए लगातार कार्रवाई कर रहे हैं। समय-समय पर अभियान भी चलाते हैं
हर साल 20 हजार से अधिक वाहनों का पंजीयन: डीटीओ- जिला परिवहन अधिकारी एसके कुर्रे का कहना है कि हर साल 20 हजार से अधिक वाहनों का पंजीयन हो रहा है। अभी तक 3 लाख से अधिक वाहन पंजीकृत है। भारी वाहनों की संख्या भी बढ़ी है।
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