MP शासन की बड़ी तैयारी, बाल संरक्षण गृह में अब नहीं दिया जाएगा Non-veg

मध्य प्रदेश सरकार के महिला और बाल विकास विभाग द्वारा आहार सूची से मांसाहारी आहार हटा दिया है। बताया जा रहा है कि बच्चों को अब अंडा और चिकन नहीं दिया जाएगा। क्योंकि बाल संरक्षण गृह में अंडा और चिकन खिलाए जाने को लेकर विवाद बढ़ गया था। जिसके बाद महिला और बाल विकास विभाग ने नियम में संशोधन किया है।

दरअसल नियम के हिसाब से बच्चे के बीमार होने, वजन बढ़ाने और अन्य स्वास्थ्य कारण पर डॉक्टर की सलाह के बाद ही अंडा और चिकन अतिरिक्त आहार के रूप में बच्चों को उपलब्ध कराए जा सकेगा। इससे पहले पोषण सप्ताह में एक बार बच्चों को चिकन अथवा खाने की आदत के अनुसार सप्ताह में चार अंडे दिया जाना सुनिश्चित किया गया था।

वहीं आहार सूची में कई अन्य परिवर्तन भी किए गए हैं। गुड़ और मूंगफली या पनीर प्रत्येक छात्रों को सप्ताह में एक बार देना अनिवार्य किया गया है। इसके अलावा गैर शाकाहारी दिवस पर शाकाहारी बालकों को 60 ग्राम गुड़ और 60 ग्राम मूंगफली सहित 100 ग्राम पनीर देने का प्रावधान था। इसके अलावा नए संशोधन के तहत किशोर बालिकाओं में आयरन की कमी का पता लगाने के लिए स्वास्थ्य परीक्षण किया जाएगा। 

जानकारी के अनुसार बाल संरक्षण के बालकों को रोजगार उपलब्ध कराने के लिए व्यवसायिक प्रशिक्षण दिया जाएगा। जिसमें व्यावसायिक चिकित्सा कौशल और अभिरुचि आधारित प्रशिक्षण दिए जाएंगे। साथ ही बच्चों के मनोरंजन के साधन उपलब्ध कराए जाएंगे। इसके अलावा बालकों को अवकाश, त्योहार सहित राष्ट्रीय उत्सव समारोह और बाल संरक्षण गृह द्वारा अधिसूचित अवसरों पर विशेष भोजन कराए जाएंगे।