दिवाली का अर्थ है कि आतंक के अंत के साथ उत्सव : नरेंद्र मोदी

नई दिल्ली ,24 अक्टूबर। सैनिकों के साथ दिवाली का त्योहार मनाने के लिए सोमवार को कारगिल पहुंचे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस मौके पर कहा कि दिवाली का मतलब ‘आतंक के अंत का त्योहार’ है और करगिल ने इसे संभव बनाया है। दिवाली के अवसर पर सेना के जवानों को संबोधित करते प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने करगिल में कहा, ‘मेरे लिए तो वर्षों-वर्ष से मेरा परिवार आप ही सब हैं। मेरी दीपावली की मिठास आप के बीच बढ़ जाती है, मेरी दीपावली का प्रकाश आपके बीच है और अगली दिवाली तक मेरा पथ प्रशस्त करता है।’ उन्होंने आगे कहा कि मेरे लिए तो वर्षों-वर्ष से मेरा परिवार आप ही सब हैं। मेरी दीपावली की मिठास आप के बीच बढ़ जाती है, मेरी दीपावली का प्रकाश आपके बीच है और अगली दिवाली तक मेरा पथ प्रशस्त करता है।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सेना को संबोधित करते हुए कहा, ‘पाकिस्तान के साथ एक भी लड़ाई ऐसी नहीं हुई है जहां कारगिल ने विजय ध्वज न फहराया हो। दिवाली का अर्थ है कि आतंक के अंत के साथ उत्सव। यही कारगिल ने भी किया था।’ पीएम ने आगे कह, ‘एक राष्ट्र तब अमर होता है जब उसकी संतानों को, उसके वीर बेटों और बेटियों को अपने सामर्थ्य पर परम विश्वास होता है।’ इससे पहले रविवार को पीएम मोदी ने अयोध्या के दीपोत्सव कार्यक्रम में शिरकत की थी। इस दौरान उन्होंने राम जन्मभूमि मंदिर में पूजा अर्चना की। साथ ही पीएम मोदी ने दीपोत्सव कार्यक्रम में भाग लिया।



इससे पहले पीएम मोदी ने देशवासियों को दिवाली की बधाई दी। पीएम मोदी ने ट्वीट कर लिखा कि प्रकाश का यह पर्व हर किसी के जीवन में खुशियां और उत्तम स्वास्थ्य लेकर आए। पिछले साल पीएम मोदी ने जम्मू के नौशेरा में जवानों के साथ दिवाली मनाई थी। उन्होंने भारतीय सीमाओं पर सेवा करने के लिए सैनिकों की सराहना की थी और बताया था कि सुरक्षाकर्मी राष्ट्र के “सुरक्षा कवच” हैं। प्रधानमंत्री ने  कहा था कि सैनिकों की वजह से ही लोग चैन की नींद सो पाते हैं।



2020 में, राजस्थान के जैसलमेर के लोंगेवाला में सैनिकों के साथ दिवाली मनाते हुए पीएम मोदी ने कहा था कि जब तक भारतीय सैनिक मौजूद हैं, इस देश का दीवाली समारोह पूरे जोरों पर और रोशनी से भरा रहेगा। 2019 में, प्रधानमंत्री ने जम्मू और कश्मीर में नियंत्रण रेखा (एलओसी) के साथ राजौरी जिले में सैनिकों के साथ दिवाली मनाई। उन्होंने सैनिकों को अपने परिवार के रूप में बुलाया था और त्योहारों के दौरान भी सीमाओं की रक्षा के लिए उनकी सराहना की थी।



2018 में, प्रधानमंत्री मोदी ने उत्तराखंड के हरसिल में भारतीय सेना और भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (ITBP) के जवानों के साथ दिवाली मनाई थी। इसके बाद उन्होंने केदारनाथ धाम में पूजा-अर्चना की। 2017 में, प्रधान मंत्री ने जम्मू और कश्मीर के बांदीपोरा जिले की गुरेज घाटी में सेना के जवानों और सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) के जवानों के साथ प्रकाश का त्योहार मनाया। 2016 में, प्रधानमंत्री एक चौकी पर भारत-तिब्बत सीमा पुलिस कर्मियों के साथ त्योहार मनाने के लिए हिमाचल प्रदेश गए थे। वह 2015 में सैनिकों के साथ दिवाली मनाने के लिए पंजाब सीमा पर गए थे। 2014 में प्रधानमंत्री मोदी ने सैनिकों के साथ सियाचिन में दिवाली मनाई थी।

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