कोरोना (Corona) के जारी कहर के बीच अब नए वेरिएंट ओमिक्रॉन (Omicron) ने लोगों की चिंता बढ़ा दी है. इसके कहर से बचाने के लिए सरकारों ने लोगों को घर में रहने की हिदायत दी है और कई जगहों पर वीकेंड कर्फ्यू का नियम भी लागू किया गया है. हालांकि, लोग घरों में रहकर भी इससे बचाव के लिए कई तरह के तरीके आजमा रहे हैं, जिनमें सेहत के लिए बेहद फायदेमंद माने जाने वाला काढ़ा (Kadha) को पीना भी शामिल है. विशेषज्ञों की मानें तो ये इम्यूनिटी (Immunity) को बूस्ट करने में भी मददगार होता है. बता दें कि घर में प्रयोग होने वाले लौंग, हल्दी, अदरक, दालचीनी, जायफल आदि का इस्तेमाल काढ़ा बनाने में किया जाता है.
ऐसा माना जाता है कि ये सेहत ही नहीं स्किन के लिए अच्छा होता है. वैसे काढ़ा को पीते समय लोग अक्सर कई गलतियां कर देते हैं और उन्हें इसकी जानकारी भी नहीं होती. हम आपको ऐसी ही कुछ गलतियों के बारे में बताने जा रहे हैं.
पेट की दिक्कतें
काढ़ा का बनाने के लिए लौंग, हल्दी, अदरक, दालचीनी, जायफल आदि का इस्तेमाल काढ़ा बनाने में किया जाता है, लेकिन देखा जाए तो इन सभी की तासीर काफी गर्म होती है और अगर हद से ज्यादा काढ़े का सेवन किया जाए, तो पेट से जुड़ी समस्याएं तंग करने लगती है. ऐसे में काढ़ा सीमित मात्रा में ही पीना चाहिए.
गले में सूजन
एक्सपर्ट्स मुताबिक लोग काढ़े को काफी अच्छा मानते हैं, लेकिन ऐसा भी माना जाता है कि ये गले में सूजन की दिक्कत भी कर सकता है. दरअसल, इसे बनाने के लिए इस्तेमाल होने वाले मसालों को ज्यादा मात्रा में यूज करने से ये गले को छील भी सकते हैं. लोगों को लगता है कि वे इसे लगातार पीएंगे तो ओमिक्रॉन से बचाव हो पाएगा, लेकिन सही तरीके से इसका सेवन भी जरूरी है.
पाइल्स
काढ़ा मूल रूप से काफी गर्म होता है और जिन लोगों को पाइल्स यानी बवासीर की दिक्कत होती है, उन्हें भी इसका सेवन सीमित मात्रा में करना चाहिए. विशेषज्ञों की मानें इससे उन्हें जलन या अन्य गंभीर समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है.
मुंह में छाले
ये भी देखा गया है कि कभी-कभी काढ़ा पीने से मुंह में छाले की समस्या भी हो सकती है. ये साफ है कि काढ़े की तासीर गर्म होती है और इससे नाक से खून भी आ सकता है. कई बच्चों की नाक से खून आने की प्रॉब्लम अक्सर बनी रहती है, ऐसे में पेरेंट्स को उन्हें भी काढ़ा देने से पहले डॉक्टर की सलाह ले लेनी चाहिए.
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