हरियाणा (Haryana) के सीएम मनोहर लाल खट्टर ने रविवार को कहा कि संबंधित जिलों के उपायुक्त (DC) और पुलिस अधीक्षक (SP) रिपोर्ट तैयार करें कि बीते 1 साल में किसानों के खिलाफ दर्ज कितने मामले हैं, जिन्हें तत्काल वापस लिया जा सकता है. प्रशासनिक सुधार विभाग की 15वीं बैठक के बाद मीडिया से बातचीत करते हुए सीएम खट्टर ने कहा कि उन मामलों पर उचित कदम उठाया जाएगा, जो पहले ही कोर्ट में चल रहे हैं.
दरअसल, सीएम खट्टर का यह निर्देश केंद्र सरकार द्वारा तीन कृषि कानूनों को वापस लेने के बाद लगभग सालभर से दिल्ली के बार्डर पर जमे किसानों की वापसी शुरू होने के एक दिन बाद आया है. किसानों ने कृषि कानूनों की वापसी के साथ प्रदर्शनकारियों पर पुलिस द्वारा दर्ज किए गए मामलों को बिना शर्त वापस लेने की मांग की थी.
केंद्र सरकार ने किसानों की मांगों पर जताई सहमति
बता दें कि केंद्र सरकार ने पिछले महीने तीनों कृषि को वापस लेने की मांग को स्वीकार करते हुए अन्य मांगों के साथ किसानों के खिलाफ दर्ज मामलों को वापस लेने पर भी अपनी सहमति जताई थी. इस दौरान मीडिया द्वारा पूछे गए सवाल के जवाब में खट्टर ने कहा कि सभी संबंधित जिलों के उपायुक्त, पुलिस अधीक्षक और अन्य अधिकारी इस बात की रिपोर्ट तैयार करेंगे कि किसानों के खिलाफ दर्ज कितने मामलों को तत्काल वापस लिया जा सकता है. उन्होंने कहा कि जो मामले स्थानीय कोर्ट में चले गए हैं, उनपर भी उचित कदम उठाए जाएंगे.
मुआवजे के लिए किसानों की लिस्ट करा रहें हैं तैयार- CM खट्टर
गौरतलब है कि बीते 1 साल से चल रहे किसान आंदोलन के दौरान मरे किसानों के परिवारों को मुआवजा देने के सवाल पर मुख्यमंत्री ने कहा कि इस संबंध में उनसे बात चल रही है और ऐसे लोगों की लिस्ट किसानों द्वारा मुहैया कराई गई है, जिनका वैरीफिकेशन पुलिस द्वारा किया जाएगा. उन्होंने किसानों द्वारा प्रदर्शन खत्म करने के फैसले का स्वागत करते हुए कहा कि प्रदर्शन के कारण बंद टोल बूथों को जल्द ही दोबारा खोला जाएगा
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