नई दिल्ली. भारतीय जनता पार्टी (BJP) की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक कुछ ही देर में शुरू होने जा रही है. दिल्ली स्थित एनडीएमसी कन्वेंशन सेंटर पर आयोजित हो रही बैठक में शामिल होने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) भी पहुंच चुके हैं. इस दौरान पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव (Assembly Elections in Five States) और संगठनात्मक मुद्दों पर चर्चा की संभावना है. बैठक में केंद्रीय मंत्रियों के अलावा कई राज्यों के मुख्यमंत्री और पार्टी नेता शामिल हो रहे हैं.
बैठक में शामिल होने के लिए उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर, हरदीप सिंह पुरी, डॉक्टर एस जयशंकर, धर्मेंद्र प्रधान और मुख्तार अब्बास नकवी पहुंच चुके हैं. पार्टी महासचिव अर्जुन सिंह ने शनिवार को जानकारी दी थी कि मीटिंग में केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी, निर्मला सीतारमण, राजनाथ सिंह भी शामिल होंगे. समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, भाजपा के वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी और मुरली मनोहर जोशी इस बैठक में वर्चुअली शामिल हुए हैं.
कोरोना वायरस महामारी के बाद पहली बार आयोजित हो रही इस बैठक का आयोजन ‘हाईब्रिड’ मोड पर किया जाएगा. इसके तहत कुछ सदस्य दिल्ली में व्यक्तिगत रूप से बैठक में शामिल होंगे. वहीं, कुछ सदस्य वर्चुअली मीटिंग का हिस्सा बनेंगे. हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट में मामले के जानकार पार्टी के पदाधिकारियों के हवाले से लिखा है कि बैठक में पीएम मोदी, गृहमंत्री शाह, राष्ट्रीय अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा समेत भाजपा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी के 124 सदस्य शामिल होंगे.
ऐसा होगा कार्यक्रम
रिपोर्ट के अनुसार, बैठक में उद्घाटन भाषण नड्डा की तरफ से दिया जाएगा. जबकि, समापन पर पीएम मोदी संबोधन देंगे. कार्यक्रम की शुरुआत के बाद सदस्य राष्ट्रीय मुद्दों और एजेंडा पर विचार करेंगे. साथ ही बैठक के आयोजन स्थल पर पार्टी मोदी सरकार के ‘आत्मनिर्भर भारत’ कार्यक्रम की प्रदर्शनी करेगी. रिपोर्ट के मुताबिक, भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव अरुण सिंह ने बताया कि बैठक में कम से कम एक राजनीतिक प्रस्ताव पारित होने की संभावना है.
इसके अलावा पार्टी के सदस्य कोविड-19 महामारी के दौरान जान गंवाने वालों के लिए शोक संदेश देंगे. संभावना है कि इस दौरान वे महमारी से लड़ने के दौरान पार्टी के प्रयासों पर भी बात करेंगे. खास बात है कि हाल ही में संपन्न हुए 13 राज्यों में 3 लोकसभा और 29 विधानसभा सीटों पर भाजपा का प्रदर्शन मिला जुला रहा था.पार्टी ने असम और मध्य प्रदेश में जीत हासिल की, लेकिन हिमाचल प्रदेश में सभी तीन विधानसभा और एक लोकसभा सीट गंवा दी.
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