बिलासपुर 24 अक्टूबर (वेदांत समाचार): ठंड बढ़ते ही मरवाही वनमंडल के गांवों में भालुओं की दस्तक होने लगी है। रविवार की सुबह वनमंडल अंतर्गत दो जगहों पर भालुओं के हमले से दो ग्रामीण घायल हो गए। जिन्हें 108 व 112 वाहनों की मदद से सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया गया है। दोनों खतरे से बाहर हैं। सबसे विडंबना की बात यह है कि वन मंडल के एक भी अधिकारी या कर्मचारी न तो घायलों का हाल जानने पहुंचे और न उनकी किसी तरह सहयोग की। पहली घटना पेंड्रा विकासखंड अंतर्गत आने वाले बिसेसरा ग्राम पंचायत की है। यहां निवासरत राजकुमार गोड़ के घर के पीछे जंगह है। जहां बड़ी संख्या में बीही के पेड़ हैं।
ग्रामीण सुबह शौच के लिए गया था। तभी पेड़ के पीछे खड़े भालुओं से उनका सामना हो गया। तीन शावक के साथ नर व मादा भालू थे। इससे पहले की ग्रामीण कुछ समझ पाता भालुओं ने ग्रामीण पर हमला कर दिया। उसकी चीख सुनकर आसपास के ग्रामीण पहुंचे। ग्रामीणों की भीड़ देखकर भालू जंगल की तरफ भाग गए। लेकिन इस घटना में ग्रामीण जख्मी हो गया।
इस पर तत्काल 108 में सूचना देकर एंबुलेंस मंगाई गई। इसके बाद घायल ग्रामीण पेंड्रा के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया गया। समय पर उपचार सुविधा मिलने से ग्रामीण अब खतरे से बाहर है। इस घटना के थोड़ी देर बाद एक और घटना हुई।
उषाढ़ ग्राम पंचायत के डोंगाटोला निवासी रजनिया बाई सुबह आंगन में काम कर रही थी। इस बीच दो भालू पहुंच गए। आंगन में भालुओं को देखकर ग्रामीण महिला के होश उड़ गए। वह घबरा गई। इसके चलते वह भाग नहीं सकी। एक भालू ने तो महिला को घायल भी कर दिया गया। पर ग्रामीणों के खदेड़ने के कारण वह भाग निकला और महिला की जान बच गई।
112 की मदद से महिला को सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती किया गया। घटना की जानकारी मिलने के बाद विधायक डा. केके धु्रुव सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचे और घायल महिला का हाल जाना।
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