लक्षद्वीप : फिल्मकार आयशा सुल्ताना के खिलाफ राजद्रोह का मामला दर्ज करने के खिलाफ लक्षद्वीप में भाजपा के 15 नेताओं ने एक साथ सामूहिक इस्तीफा दे दिया है. फिल्मकार आयशा सुल्ताना ने प्रशासक प्रफुल्ल खोड़ा पटेल के कोरोना से निपटने की नीति की आलोचना की थी. इसके बाद उन पर राजद्रोह और अभद्र भाषा का प्रयोग करने को लेकर केस दर्ज किया गया. उन पर की गई कानूनी कार्रवाई के बाद भाजपा के 15 नेताओं और कार्यकर्ताओं ने अपनी नाराजगी जाहिर करते हुए पार्टी छोड़ने का फैसला किया. हालांकि, इस केंद्र शासित प्रदेश में भाजपा अध्यक्ष की शिकायत पर ही फिल्मकार पर मामला दर्ज किया गया है.
भाजपा के नाराज 15 नेताओं और कार्यकर्ताओं ने हस्ताक्षर कर पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष सी अब्दुल खादर हाजी को चिट्ठी लिखी है, जिसमें कहा गया है कि लक्षद्वीप में भाजपा इस बात से पूरी तरह वाकिफ है कि कैसे वर्तमान प्रशासक पटेल की हरकतें जनविरोधी, लोकतंत्र विरोधी और लोगों के लिए अत्यधिक पीड़ा का कारण बनी हैं.
इस चिट्ठी में नाराज नेताओं ने हाजी को इस मुद्दे पर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात करने और शिकायत प्रस्तुत करने को लेकर याद भी दिलाई है. चिट्ठी में कहा गया है कि आपको इस बात की जानकारी है कि लक्षद्वीप में भाजपा के कई नेता पहले ही प्रशासक और जिला अधिकारी के विभिन्न गलत कामों के खिलाफ आवाज बुलंद कर चुके हैं.
फिल्मकार आयशा सुल्ताना के समर्थन इन नेताओं ने कहा कि यह ठीक उसी तरह है, जैसे चेतलाट निवासी आयशा सुल्ताना ने भी मीडिया में अपनी राय साझा की. पुलिस में आपकी शिकायत के आधार पर आयशा सुल्ताना के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है, जिसने एक चर्चा के दौरान लक्षद्वीप में वर्तमान प्रशासक के आगमन और उनके अवैज्ञानिक, गैर-जिम्मेदार फैसलों के साथ एक भी कोरोना के मामले नहीं होने से लेकर बड़े पैमाने पर मामलों की बात की थी.
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