आचार संहिता के बीच महिला एवं बाल विकास विभाग के बाद संभागीय संयुक्त संचालक स्वाथ्य सेवाएं ने 3 कर्मचारियों के पदस्थापना में किया संशोधन,बिना तारीख अंकित किए जारी किया आदेश ,आयोग कब लेगा संज्ञान !

0.छत्तीसगढ़ में निर्वाचन आयोग को अफसर दे रहे चुनौती

कोरबा,11अक्टूबर। विधानसभा चुनाव के लिए आदर्श आचार संहिता लागू होने के बाद भी छत्तीसगढ़ में अफसर निर्वाचन आयोग को चुनौती दे रहे। आचार संहिता के कड़े नियमों को धत्ता बताते हुए बैखोफ अफसर आचार संहिता लागू होने के बाद भी न केवल धड़ाधड़ आदेश जारी किए जाते रहे वरन आचार संहिता प्रभावी होने के बाद भी भारमुक्त व जॉइनिंग की प्रक्रिया जारी रही। महिला एवं बाल विकास विभाग के बाद अब स्वास्थ्य विभाग भी चर्चे में हैं। जहां कार्यालय संभागीय संयुक्त संचालक स्वास्थ्य सेवाएं ने आचार संहिता लागू होने का बाद 3 कर्मचारियों का संशोधित आदेश जारी किया गया है। आयोग की आंखों में धूल झोंकने,कार्रवाई से बचने आदेश पत्र में तारीख अंकित न कर सोमवार को यह आदेश जारी किया है।

वायरल संशोधित आदेश में कार्यालय संभागीय संयुक्त संचालक स्वास्थ्य सेवाएं ने अपने कार्यलयीन आदेश क्रमांक /स्था./अवि./2023 /198 दिनांक 06 .10.2023 को नेत्र सहायक के पद के लिए जारी अभ्यर्थियों की पदस्थापना आदेश में अभ्यर्थियों के पारिवारिक एवं स्वास्थ्यगत कारणों के अभ्यावेदन पर संशोधित आदेश जारी किया है। जिसमें प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र कोटा,जिला -बिलासपुर में पदस्थ अनुराधा साहू प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र लालपुर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र लोरमी,जिला -मुंगेली,प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र भिलाईबाजार सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र कटघोरा,जिला -कोरबा में पदस्थ नरेश कुमार प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र रंजना सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र कटघोरा,जिला -कोरबा एवं प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र हाटी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पताढ़ी,जिला -कोरबा में पदस्थ विनोद कुमार प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र चिकनीपाली सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र करतला,जिला -कोरबा (छग) में पदस्थ किए गए हैं। 3 दिन के भीतर जारी संशोधन आदेश ने विभाग की कार्यशैली पर सवाल खड़े कर दिए हैं।विश्वस्त सूत्रों की मानें 6 अक्टूबर को नेत्र सहायकों के 40 पदों पर जारी पदस्थापना आदेश में भी भेंट पूजा चली है ,यही वजह है कि आचार संहिता लागू होने के बाद भी चयनित अभ्यर्थी जॉइनिंग देते रहे।

महिला एवं बाल विकास विभाग ने आचार संहिता के बीच इनका किया तबादला ,दिन भर देते रहे जॉइनिंग

छत्तीसगढ़ शासन के महिला एवं बाल विकास विभाग में अधिकारी कर्मचारियों के स्थानांतरण आदेश जारी करने की जल्दबाजी रही। सुभाष चन्द्र कुजूर अवर सचिव महिला एवं बाल विकास विभाग छत्तीसगढ़ शासन ने 9 अक्टूबर को 17 अधिकारी कर्मचारियों का प्रशासनिक आधार पर स्थानांतरण आदेश जारी नवीन पदस्थापना स्थल के लिए उसी दिन पूर्वान्ह भारमुक्त कर दिया है। दोपहर 12 बजे ईसी की प्रेस कांफ्रेंस के साथ ही आदर्श आचार संहिता लागू हो गई थी । ऐसे में विभाग का यह स्थानांतरण आदेश चर्चा का विषय बना हुआ है।जिन अधिकारी कर्मचारियों का स्थानांतरण हुआ है उनमें दो उप संचालक ,5 परियोजना अधिकारी ,9 पर्यवेक्षक एवं 2 लिपिक शामिल हैं। अधिकारियों में सचिव ,छत्तीसगढ़ राज्य महिला आयोग,रायपुर में पदस्थ उप संचालक आनंद प्रकाश किस्पोट्टा का उप संचालक क्षेत्रीय महिला प्रशिक्षण संस्थान जगदलपुर ,जिला -बस्तर किया गया है । वहीं क्षेत्रीय महिला प्रशिक्षण संस्थान जगदलपुर ,जिला -बस्तर में पदस्थ उप संचालक मनोज सिन्हा सचिव ,छत्तीसगढ़ राज्य महिला आयोग,रायपुर के पद पर पदस्थ किए गए हैं।

5 परियोजना अधिकारियों का भी तबादला हुआ है। इनमें एकीकृत बाल विकास परियोजना पुसौर ,जिला -रायगढ़ में पदस्थ सुश्री रमोला रानीपाल का परियोजना बरपाली ,जिला -कोरबा , परियोजना मैनपाट जिला -सरगुजा में पदस्थ श्रीमती सरोजनी नामदेव का परियोजना पाली जिला -कोरबा ,परियोजना बिलासपुर,जिला बिलासपुर में पदस्थ सुश्री राजेश्वरी पाटले का परियोजना फरसाबहार जिला -जशपुर ,परियोजना पाली जिला -कोरबा में पदस्थ सुश्री दीप्ति पटेल का परियोजना बिलासपुर जिला -बिलासपुर एवं परियोजना छुईखदान , जिला -खैरागढ़ -छुईखदान-गण्डई में पदस्थ श्रीमती अमिता श्रीवास्तव का परियोजना नवागढ़ ,जिला -बेमेतरा स्थानांतरण किया गया है। 9 पर्यवेक्षकों का भी तबादला किया गया है। इनमें परियोजना भानुप्रतापपुर जिला- कांकेर में पदस्थ फरहीन नाज का परियोजना कांकेर जिला -कांकेर,परियोजना भरतपुर,जिला -मनेंद्रगढ़ -भरतपुर-चिरमिरी में पदस्थ नर्मदा अनँत का परियोजना गौरेला जिला -गौरेला -पेंड्रा -मरवाही ,परियोजना डोंडीलोहारा जिला -बालोद में पदस्थ हसीना खान का परियोजना भानुप्रतापपुर जिला -कांकेर ,परियोजना चोटिया जिला -कोरबा में पदस्थ गायत्री देवी का

परियोजना कोरबा ग्रामीण जिला -कोरबा, मुकडेगा जिला -रायगढ़ में पदस्थ यज्ञसेनी साहू का परियोजना लेन्ध्रा जिला -सारंगढ़ बिलाईगढ़,परियोजना कोरबा ग्रामीण जिला -कोरबा में पदस्थ उषा सिंह चौहान परियोजना चोटिया जिला -कोरबा ,परियोजना खड़गंवा जिला -मनेंद्रगढ़ -भरतपुर-चिरमिरी में पदस्थ अश्वनी कौशिक का आदेश संशोधित कर परियोजना नवागढ़ जिला -जांजगीर चाम्पा में पदस्थ किया गया है। परियोजना छिंदगढ़ -2 जिला -सुकमा में पदस्थ कौशिल्या प्रधान का आदेश संशोधित कर परियोजना मरवाही जिला -गौरेला -पेंड्रा -मरवाही किया गया है। परियोजना सरकंडा (बिल्हा -2 )जिला बिलासपुर से परियोजना कुकदूर जिला -कबीरधाम में स्थानांतरित श्रीमती संजू तिवारी का स्थानांतरण आदेश निरस्त किया गया है। दो लिपिकों का भी स्थानांतरण किया गया है ,इनमें परियोजना बागबहार जिला जशपुर में पदस्थ सहायक ग्रेड -01 हरीश ठाकुर का परियोजना कांकेर जिला -कांकेर एवं परियोजना पामगढ़ -जिला -जांजगीर चाम्पा में पदस्थ सहायक ग्रेड -01 दिलीप धुरंधर का परियोजना धमतरी ग्रामीण,जिला -धमतरी तबादला किया गया है ।


यह बात समझ से परे है कि अगर तबादले किए जाने थे तो इतना विलंब क्यों किया गया ?क्या आचार संहिता लागू होने के बाद यह आदेश जारी हुए?अधिकारी कर्मचारी किस तरह भारमुक्त हुए ?विश्वस्त सूत्रों के अनुसार उच्च अधिकारियों को चढ़ावा देकर आचार संहिता लागू होने के बाद भारमुक्त व जॉइनिंग देते रहे। निर्वाचन आयोग की ढिलाई भी साफ तौर पर उजागर हुई। निश्चित तौर पर सवाल उठेंगे तो विभाग को जवाब के लिए तैयार रहना होगा।