रोड नहीं तो वोट नहीं, कॉलोनी वालों के सब्र का टूटा बांध आने वाले चुनाव में वोट नहीं करने का लिया फैसला

दो वार्डों के बीच में फंसे लगभग 25 परिवार अपने मूलभूत सुविधाओं के लिए पत्राचार करते-करते थक गए और उन्होंने आने वाले चुनाव में वोट ना करने का निर्णय लिया है यह कोई ग्रामीण क्षेत्र की स्थिति नहीं है बल्कि शहर के बीचो बीच एक बड़े कॉलोनी पंडित रविशंकरशुक्ला नगर एवं शिवाजी नगर के मध्य बसे 25 परिवारों की व्यथा है,

विगत कई वर्षों से कॉलोनी की स्थिति में कोई सुधार नहीं है, नगर निगम के अधिकारी हो या फिर नगर निगम के महापौर या इस क्षेत्र के पार्षद कॉलोनी के लोगों को केवल आश्वासन मिला जिससे परेशान होकर सभी ने एक स्वर में आने वाले चुनाव में वोट ना करने का फैसला किया है,

कॉलोनी के लोगों का कहना है कि नगर निगम के अधिकारी केवल टैक्स वसूली के लिए इस क्षेत्र में आते हैं और विभिन्न पार्टियों के जनप्रतिनिधि चुनाव के समय वोट मांगने के लिए बाकी समय हमें हमारे हाल पर छोड़ दिया गया है हमारे क्षेत्र में ना चलने को सही से सड़क है और ना ही बिजली खंभों में लाइट लगी हुई है सफाई की सुविधा भी नगण्य है,

ऐसे में हम सब कॉलोनी वासियों ने निर्णय लिया है कि अगर हमें हमारे ही हाल में जीना है तो हम अपना वोट व्यर्थ क्यों करें अगर हमारे क्षेत्र की समस्याओं का निराकरण होता है तो हम आने वाले चुनाव में वोट करेंगे