जाति, निवास, आय प्रमाण प्रमाण पत्र बनाने के लिए चलाएं अभियान : कलेक्टर

कवर्धा ,17 जून  कलेक्टर जनमेजय महोबे ने शनिवार को कलेक्टोरेट सभाकक्ष में राजस्व अधिकारियों की बैठक लेकर प्रकरणों की समीक्षा की और आवश्यक निर्देश दिए। कलेक्टर महोबे ने कहा कि पटवारी हड़ताल से वापस आ गए है, अब राजस्व सबंधित कार्य में तेजी आनी चाहिए। शासन द्वारा विभिन्न विभागों से बड़ी मात्रा में नौकरियां निकाली जा रही है, इसके लिए जाति, निवास, आय प्रमाण की जरूरत पड़ती है। उन्होंने ने प्रमाण पत्र बनाने के लिए अभियान चलाने के निर्देश दिए है। उन्होंने कहा कि यह शासन की प्राथमिकता में शामिल है, इसे गंभीरता से करे। इसके साथ ही राजस्व से संबंधित सभी कार्य रिकार्ड अभिलेख, अभिलेख संशोधन को तीव्र गति से करने के निर्देश दिए।

कलेक्टर महोबे ने कहा कि जिन हितग्राहियों को वन अधिकारी पट्टा प्राप्त है भूमि पर वही व्यक्ति काबिज होना चाहिए। जो हितग्राही इससे वंचित है उसमे जांच कर  नियमानुसार कार्रवाई करे। तहसीलदार इसमें सलग्न होकर गंभीरता से कार्य करे और भूमि हक दिलाएं। इसके साथ ही पट्टे का स्क्रूटनी तथा स्थल जांच करना सुनिश्चित करे। उन्होंने कहा कि शासन द्वारा युवाओं के लिए अनेक योजनाएं लागू की जा रही है। इसमें रोजगार, बेरोजगारी भत्ता, कौशल विकास संबंधी कार्यक्रम हो रहे है। इसके लिए भी जाति, निवास, आय प्रमाण की जरूरत होती हैं।  मिशन मोड में प्रमाण पत्र बनाना सुनिश्चित करे।

कलेक्टर महोबे ने बैठक में शासन स्तर से मिले आदेश, निर्देश, मुख्यमंत्री जनचौपाल, माननीय मंत्रियों के क्षेत्रीय भ्रमण और कलेक्टर जनदर्शन में मिले प्राप्त आवेदनों के निराकरण की प्रगति की स्थिति की समीक्षा की। उन्होने आमजनों से प्राप्त आवेदनों में शिकायत, समस्या और मांग के स्वरूपों को अलग-अलग कर पूरी संवेदनशीलता और गंभीरता से निराकरण करने के सख्त निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि कलेक्टर जनचौपाल में राजस्व से संबंधित मामले आते है, इस पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है। अनुविभागीय और तहसील स्तर के मामलों का निराकरण उसी स्तर पर करना सुनिश्चित करे। उन्होंने जनचौपाल में प्राप्त आवेदनों को संबंधित राजस्व अधिकारी को देकर त्वरित निराकरण करने के निर्देश दिए। उन्होंने मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के भेट मुलाकात के दौरान सामाजिक संगठन के लिए जमीन आबंटन की घोषणा पर की गई करवाई की भी समीक्षा की।

कलेक्टर ने इस दौरान नामांकन, बंटवारा, सीमांकन, अविवादित नामांतरण प्रकरणों, लंबित प्रकरणों, डिजिटल हस्ताक्षरिकृत खसरा, कतिपय वृक्षों को काटने, भुइयां सॉफ्टवेयर में अभिलेख शुद्धता, ऑनलाईन नामांतरण पंजी, ई-कोर्ट, त्रुटि सुधार, नजूल भू-भाटक, व्यपवर्तन प्रकरण, नजूल रिकवरी सहित अन्य प्रकरणों की समीक्षा की। उन्होंने राजीव गांधी भूमिहीन ग्रामीण कृषि मजदूर न्याय योजना की समीक्षा की। उन्होंने कहा कि जो हितग्राही इसके लाभ से वंचित है और इसके लिए पात्र है उनका चिन्हांकन करके रखें। जिससे आगामी समय में इससे जुड़वाया जा सके। बैठक में अपर कलेक्टर इंद्रजीत बर्मन, संयुक्त कलेक्टर डॉ. मोनिका कौड़ो, दिप्ती गौते सहित सर्व एसडीएम, तहसीलदार और राजस्व विभाग के अधिकारी उपस्थित थे।