Saving Formula : जब पहली बार किसी के अकाउंट में उसकी पहली सैलरी क्रेडिट होती है, तो उस व्यक्ति की आंखों में एक अलग ही चमक होती है. लगभग सभी को अपनी पहली सैलरी उम्रभर याद रहती है. लेकिन आप इसे और भी यादगार बना सकते हैं. आप अपनी पहली सैलरी को एक फॉर्मूले के जरिए उम्रभर के लिए यादगार बना सकते हैं.
ऐसे करें प्लानिंग
अपनी पहली सैलरी को अधिक स्पेशल बनाने के लिए आपको एक प्लानिंग करनी होगी. फिर जैसे ही आपके खाते में पहली सैलरी आए उसे अप्लाई कर दें. इसके बाद आप अपनी पहली सैलरी को कभी नहीं भूल पाएंगे. पहली सैलरी क्रेडिट होने के बाद आप उस अमाउंट को दो हिस्सों में डिवाइड कर दें. पहला हिस्सा खर्च के लिए रखें और दूसरे को सेविंग की कैटेगरी में डाल दें. चूंकि आपकी पहली सैलरी है, तो माता-पिता को गिफ्ट देना तो बनता ही है. तो खर्च वाले हिस्से की राशि से उनके लिए एक प्यारा सा गिफ्ट खरीद लें.
निवेश की शुरुआत करें
अपनी पहली सैलरी क्रेडिट होने के बाद से ही निवेश की शुरुआत कर दें. अगर आप रिस्क ले सकते हैं, तो म्यूचुअल फंड (Mutual Fund) में निवेश करना शुरू कर सकते हैं. अगर आप किसी भी तरह का जोखिम नहीं लेना चाहते हैं, तो फिक्स्ड डिपॉजिट (FD) में निवेश करें. लेकिन निवेश को अपनी आदत जरूर बना लें और हर महीने जैसे ही सैलरी क्रेडिट हो, तो उसे निवेश वाले हिस्से में जमा कर दें. इस तरह से निवेश की शुरुआत लंबे समय में आपके लिए एक मजबूत फंड जमा करने में मदद करेगी.
रिटायरमेंट की प्लानिंग
अपनी पहली सैलरी से रिटायरमेंट की प्लानिंग की भी शुरुआत कर दें. ये आपको थोड़ा सा अटपटा लगेगा. क्योंकि आप सोच रहे होंगे कि पहली सैलरी से ही रिटायरमेंट की प्लानिंग कौन करता है भला. लेकिन अगर आप चाहते हैं कि आर्थिक रूप से आपका भविष्य सुरक्षित रहे और फाइनेंशियली आपको किसी पर निर्भर नहीं रहना पड़े, तो इसके लिए आप सरकारी पेंशन स्कीम NPS या फिर PPF चुन सकते हैं.
हेल्थ इंश्योरेंस
अपनी पहली सैलरी से हर हाल में एक हेल्थ इंश्योरेंस भी जरूर ले लें. क्योंकि एक गंभीर बीमारी आपकी सारी जमा-पूंजी को खत्म कर सकती है. इन दिनों इलाज इतना महंगा है कि आप कर्ज के दलदल में भी फंस सकते हैं. इसलिए अपनी पहली सैलरी से एक हेल्थ इंश्योरेंस लेकर बेफिक्र हो जाएं. क्योंकि जब भी आप बीमार पड़ेंगे, तो इलाज के लिए आपको अपनी सेविंग से पैसे खर्च नहीं करने पड़ेंगे.
इस तरह से शुरुआत से ही फाइनेंशियल प्लानिंग के जरिए आप अपने भविष्य को आर्थिक रूप से सुरक्षित कर पाएंगे. क्योंकि ये तो तय है कि बुढ़ापा तो आना ही है, तो फिर क्यों ना इसकी प्लानिंग अभी से ही शुरू कर दी जाए. इस तरह रिटायरमेंट के बाद आपको अपनी पहली सैलरी से किए निवेश का पैसा मिलेगा, तो हमेशा के लिए ये यादगार बन जाएगी.
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