सिकदार परिवार 13 दिनों बाद घर लौटे…

कर्ज से परेशान परिवार ने रची थी मौत की झूठी कहानी

 कांकेर । छत्तीसगढ़ के कांकेर जिले के चारामा के ग्राम चावड़ी में कार में लगी आग के बाद से रहस्‍यमय तरीके से लापता परिवार 13 दिनों बाद घर लौट आया है।

पुलिस ने बताया कि लापता कारोबारी कर्ज से परेशान होने के बाद परिवार की मौत की झूठी कहानी रची थी।

कारोबारी के ऊपर करीब 35 लाख रुपये का कर्ज था, इससे वो परेशान था इसलिए उसने पत्‍नी के साथ मिलकर यह पूरी साजिश रची। कांकेर पुलिस मंगलवार को इस पूरी घटना का राजफाश करेगी।

जिले के चारामा के ग्राम चावड़ी में एक मार्च की रात को एक कार आग में जल गई थी। इसमें पोल्ट्री फार्म संचालक समीरन सिकदार की पत्नी जया और दो बच्चे सवार थे। समीरन सिकदार रायपुर से पखांजूर घर लौट रहा था। तभी ग्राम चावड़ी में जली हुई कार मिली। जिसमें समीरन सिकदार और उसका पूरा परिवार सवार था।

अंदेशा जताया जा रहा था कि इस कार में समीरन और उसके पूरे परिवार की इस हादसे में मौत हो गई होगी। लेकिन कार में कोई भी मानव अवशेष नहीं मिलने और परिवार के लापता होने से यह पूरा मामला पेचीदा हो गया।

पुलिस ने लापता परिवार की तलाश के लिए लगातार कांकेर, धमतरी से लेकर रायपुर तक लगातार छानबीन में जुटी रही। लेकिन पुलिस के हाथ कोई भी सुराग हाथ नहीं लगा। इस दौरान पुलिस को यह पता चला कि समीरन सिकदार रायपुर में देखा गया है। समीरन ने रायपुर के लोधी पारा स्थित एक फोटो स्‍टूडियो से करीब 90 फोटाे की प्रिंट निकलवाये थे।

खबरों के अनुसार कारोबारी का एक 75 लाख की इंश्‍योरेंस पालिसी थी। कारोबारी ने इंश्‍योरेंस पालिसी के 75 लाख के लिए परिवार के मौत की यह झूठी कहानी रची थी।

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