बच्चे, बुजुर्ग, युवा व घरेलू महिलाऐं खेल में हुए शामिल
दुर्ग,10 अक्टूबर। नगर पालिक निगम क्षेत्र सीमा अंतर्गत 60 वार्डो में छत्तीसगढ़िया ओलंपिक रविवार को शुरू हुआ। निगमाधिकारियों ने प्रतियोगिता शुरू करवाई। 14 अलग विधा के खेलों में 263 से अधिक महिला, पुरुष एवं बच्चे खेल में शामिल पिट्टल, कबड्डी, खो-खो, रस्साकसी, बिल्लस, फुगड़ी सहित अन्य में महिलाओं ने बढ़ चढ़कर हिस्सा लिया। वहीं भौंरा, कबड्डी, 100 मीटर दौड़, लम्बी कूद, बांटी जैसे प्रतियोगिता में बच्चे व पुरुष वर्ग शामिल हुए।
छत्तीसगढ़ी ओलंपिक खेलों की इस प्रतियोगिता में अपने हाथ अजमा रहे बच्चे, बुजुर्ग, युवा व महिला, खो खो , कबड्डी, बिलस, गिल्ली डंडा, कांची जैसे खेलो का रोमांच हर मोहल्ले एवं गलियों तक लोगों के जुबा पर लगे हैं। दुर्ग शहर क्षेत्र के भी 8 जोन स्तर वार्डों में खेलों का आयोजन प्रारंभ हो गया है। महापौर धीरज बाकलीवाल इस शानदार पहल के लिए मुख्यमंत्री भूपेश के प्रति आभार व्यक्त किया। सभी ने खेला पद्मनाभपुर स्थित विवेकानंद उद्यान, बोरसी उच्चतर माध्यमिक विद्यालय एवं बैगापारा मिनी स्टेडियम में आसपास के वार्ड के बच्चों ने खोखो, फुगड़ी, लंगड़ी दौड़, बांटी, भौंरा आदि खेलों में हिस्सा लिया। वार्ड स्तर पर जनप्रतिनिधियों एवं युवा मितान क्लब के सदस्यों के साथ समन्वय रखते हुए पर्याप्त खेल सामग्री एवं व्यवस्थापन के साथ आयोजन को सफल बनाने की दिशा में कार्य निरन्तर कार्य किया जा रहा है।
विधायक अरुण वोरा ने कहा कि पारम्परिक खेलों को बढ़ावा देने का शानदार अवसर है छत्तीसगढ़िया ओलम्पिक। मुख्यमंत्री भूपेश लगातार छत्तीसगढ़ की परम्पराओं को सहेजने की दिशा में काम कर रहे है। महापौर धीरज बाकलीवाल ने खिलाड़ियों का हौंसला बढ़ाते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ की अपनी परम्परा और पहचान है। इन खेलों के माध्यम से हमें अपनी जड़ों की तरफ फिर से लौटने का मौका मिला है। यहां की संस्कृति के साथ-साथ खेले जाने वाले ये पारम्परिक खेल बहुत महत्व रखते हैं। शहर के मोहल्ले व गलियों से लेकर गांव-गांव में इस तरह के आयोजन होने से एक बार फिर इन खेलों की पहचान बढ़ेगी और आने वाली पीढ़ी इन्हें जान पायेगी। आयुक्त लोकेश चंद्राकार ने छत्तीसगढ़िया ओलम्पिक में लोगों से बढ़-चढ़कर हिस्सा लेने की भी अपील की।
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