पिछले दिनों फर्जी वीडियो के आधार पर कोयला चोरी के मामले में कर चुके हैं बदनाम
कोरबा, 21 मई (वेदांत समाचार)। जिला प्रशासन और पुलिस को बदनाम करने का एक नया सनसनीखेज मामला सामने आया है, एक न्यूज़ पोर्टल के द्वारा वीडियो वायरल कर डीजल चोरी का मामला बताया जा रहा है । वायरल वीडियो में कुछ सुरक्षाकर्मी तेज रफ्तार से आती हुई दो कैंपर वाहनों को रोकते हुए दिखाई देते हैं कैम्पर का ड्राइवर वाहन को रोक नहीं पाता है तब तक सुरक्षाकर्मी वाहन पर पत्थर फेंक कर उसे मारते हैं कैम्पर का ड्राइवर वाहन को रोककर मोड़कर वापस आता है और सुरक्षाकर्मियों से इस बारे में कुछ बातचीत कर रहा है । दोनों कैम्पर खाली दिख रहे हैं इसके बाद वीडियो को एडिट कर दूसरा वीडियो जोड़ा गया है जिसमें माइंस के अंदर चलने वाली बड़ी-बड़ी वाहनों को दिखाया गया है इस वीडियो में कहीं पर भी न तो वाहन में न ही बड़ी-बड़ी गाड़ियों से डीजल चोरी करते हुए दिखाई दे रहे हैं । वीडियो किस स्थान का है यह भी स्पष्ट नहीं है । इस इस वीडियो को काफी दूर से बनाया गया है जिसमें सुरक्षाकर्मी और कैंपर चालक के बीच की बातचीत सुनाई नहीं दे रहा है किंतु वीडियो बनाने वाला मारो मारो चिल्लाकर उनको उकसाने का प्रयास कर रहा है , जिससे लगता है कि निश्चित तौर पर इस वीडियो को जानबूझकर बनाया गया है ताकि मामले को दूसरी दिशा में मोड़ा जा सके । ऐसा लगता है कि कुछ साजिश कर्ताओं ने कोरबा पुलिस और जिला प्रशासन को बदनाम करने की ठान ली है ।
सर्वविदित है कि कोरबा पुलिस अधीक्षक भोजराम पटेल के पदस्थापना के पश्चात डीजल चोरी कबाड़ चोरी कोयला चोरी पर लगातार कार्यवाही की जा रही है साथ ही गुंडा बदमाशों के विरुद्ध भी लगातार कार्यवाही जारी है, इससे अवैध गतिविधियों में लिप्त अपराधिक तत्वों के बीच अफरा-तफरी का माहौल है । ऐसा लगता है कि किसी बड़ी प्लानिंग के अंतर्गत कुछ लोग समूह बनाकर कोरबा पुलिस एवं जिला प्रशासन को बदनाम कर अपना उल्लू सीधा करना चाहते हैं । अभी कोयला चोरी के संबंध में वायरल किए गए वीडियो की सत्यता के बारे में कोई जानकारी नहीं मिल पाई है वहीं एक दूसरा फर्जी वीडियो वायरल कर साजिशकर्ता अपने इसी उद्देश्य को पूरा करने का असफल प्रयास कर रहे हैं ।
सवाल यह भी उठता है कि यदि वीडियो मैं सच्चाई है तो सुरक्षाकर्मियों ने उस वाहन को छोड़ क्यों दिया । सुरक्षाकर्मियों की संख्या वहां पर ज्यादा दिख रही है, वाहन का चालक और वाहन में बैठा हुआ एक व्यक्ति वाहन से उतर कर बाहर आता है, ऐसी स्थिति में उस वाहन के चालक और व्यक्ति को पकड़ना सुरक्षाकर्मियों के लिए कोई बड़ी बात नहीं थी , यदि कैम्पर में डीजल था और वाहन से कुचलने की कोशिश की थी तो उसे पकड़ कर उसके विरुद्ध एफआईआर क्यों नहीं करवाया गया ।
तेज रफ्तार वाहन को रोकने को लेकर सुरक्षा कर्मियों द्वारा फेंके गए पत्थर एवं वाहन चालक द्वारा वापस आकर सुरक्षाकर्मियों से किए गए वाद विवाद को डीजल चोरी से जोड़ कर प्रचारित करना कहां तक उचित है ।
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