मुंबई के मालाड इलाके में एक खेल के मैदान का नामकरण टीपू सुल्तान पर किए जाने का बीजेपी विरोध कर रही है. इस मामले को लेकर भारत रत्न डॉ. भीमराव आंबेडकर के पोते और वंचित बहुजन आघाडी के नेता प्रकाश आंबेडकर ने बीजेपी पर एक गंभीर आरोप लगाया है. पुणे से सटे पिंपरी चिंचवड इलाके में पत्रकारों से बात करते हुए उन्होंंने कहा, मुंबई में हो रहे टीपू सुल्तान नामकरण से जुड़े विवाद को मैं बहुत अहमियत नहीं देता. आरएसएस और बीजेपी को लगता है कि एंटी मुस्लिम लहर तैयार करके ही चुनाव में जीत हासिल की जा सकतीहै.’
आगे प्रकाश आंबेडक ने कहा, ‘उन्हें धीरे-धीरे जनाधार कमजोर पड़ने का डर सता रहा है. इसलिए उन्होंने हिंदू-मुस्लिम की राजनीति शुरू की है. मुंबई में भी दंगे होने के हालात पैदा किए जा रहे हैं. जब तक हिंदू-मुस्लिम विवाद पैदा नहीं होता, तब तक उन्हें लगता ही नहीं कि सत्ता उनके हाथ आ सकेगी.’ इस बीच बीजेपी विधायक अमित साटम ने टीपू सुल्तान नामकरण विवाद पर मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को एक पत्र लिखा है. इसमें उन्होंने लिखा है कि आपको सिर्फ मुख्यमंत्री समझूं या शिवसेनाप्रमुख ? किसी नतीजे पर पहुंचना मुश्किल हो रहा है.
बीजेपी विधायक द्वारा मुख्यमंत्री को लिखे पत्र में क्या है?
मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को भेजे गए पत्र में बीजेपी विधायक अमित साटम ने लिखा है, ‘ आपके नाम अपने पत्र में मुख्यमंत्री और शिवसेना पार्टी प्रमुख लिखते हुए मेरे मन में दुविधा हो रही है. आपको मुख्यमंत्री कहूं कि शिवसेना पार्टी प्रमुख कहूं, समझ नहीं आ रहा है. सभी हिंदुओं की ओर से आपको इन दोनों ही पदों पर सुशोभित किया गया है. आपकी मेयर किशोरी पेडणेकर एक तरफ कहती हैं कि संबंधित खेल के मैदान पर टीपू सुल्तान नाम का बोर्ड लगाना अवैध है, इससे कानून-व्यवस्था का संकट खड़ा हो सकता है. दूसरी तरफ इसी के बचाव में फर्जी दस्तावेज इस्तेमाल में ला रही हैं. अगर वाकी टीपू सुल्तान नाम का यह बोर्ड अवैध है तो मेयर को इसे हटाने का आदेश देना चाहिए. लेकिन वे तो संरक्षक मंत्री असलम शेख का बचाव करती हुई दिखाई दे रही हैं. ‘
मंत्री असलम शेख और मेयर किशोरी पेडणेकर के खिलाफ केस दर्ज करने की मांग
दरअसल एक पुराना दस्तावेज वायरल हो रहा है. इसमें यह दर्शाया गया है कि 27 दिसंबर 2013 को महानगरपालिका की सभा में एक सड़क का नाम टीपू सुल्तान करने के प्रस्ताव का बीजेपी विधायक अमित साटम ने अनुमोदन किया था. इस पर बीजेपी विधायक का कहना कि ऐसा कोई दस्तावेज बीएमसी के रिकॉर्ड में नहीं है. यह दस्तावेज फर्जी तरीके के तैयार किया गया है. इसमें उनके हस्ताक्षर भी जाली हैं. इस फर्जी दस्तावेज को लेकर मुंबई की मेयर किशोरी पेडणेकर और मुंबई के संरक्षक मंत्री असलम शेख के खिलाफ उन्होंने आईपीसी की धारा 420.499,500 के तहत केस दर्ज करने की मांग की है.
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