कोरबा 7 अक्टूबर ( वेदांत समाचार) । सरकारी रिकार्ड में 9 डिसमिल डिस्प्ले होने की जानकारी होने पर दादरखुर्द के लोग सकते में आ गए। उनके मुताबिक पुश्तैनी जमीन पांच गुना से अधिक थी। 41 डिसमिल जमीन रिकार्ड में नहीं नजर आ रही है। अर्थात इसे नियोजित तरीके से गायब कर दिया गया है। सात परिवार के लोग इस मामले को लेकर अनशन पर बैठे हैं। उनकी मांग है कि मूल जमीन वापस दिलाने का काम किया जाना चाहिए।
नगर निगम क्षेत्र और कोरबा तहसील के अंतर्गत आने वाले दादरखुर्द के राम मंदिर चौराहा के पास अनशन पर उक्त लोगों ने प्रारंभ किया है जो इस मामले में पीडि़त हैं। वे राजस्व विभाग की कार्यप्रणाली से नाराज बताए जाते हैं। दादर गांव के चैराहे पर ही उनके द्वारा टेंट लगाकर प्रदर्शन किया जा रहा है। ग्रामीणों का आरोप है,कि उनकी 50 डिसमिल जमीन की अफरा-तफरी कर ली गई हैं और नक्शा में केवल 9 डिसमिल जमीन को ही प्रदर्शित किया जा रहा है। उनकी 41 जमीन को गायब कर दिया गया है। इस समस्या को लेकर उन्होंने राजस्व विभाग से कई बार शिकायत की लेकिन अधिकारी एक दूसरे पर मामला थोपकर अपना पल्ला झाड़ रहे है। काफी प्रयास करने के बाद भी जब बात नहीं बनी तब उन्हें मजबूर होकर अनशन पर बैठना पड़ा।
जानकारी होने पर भी नहीं रोका
ग्रामीणों ने प्रशासन को सपष्ट रुप से चेतावनी दी है,कि जब तक उनकी जमीन संबंधी समस्या का समाधान नहीं किया जाता तब तक वे अपना अनशन नहीं तोड़ेंगे। ग्रामीण स्थानीय पुलिस से भी नाराज है। उनका कहना है,कि उनकी जमीन को घेरने कुछ लोग खंबा लगा रहे थे। जिसकी शिकायत करने के बाद भी पुलिस द्वारा किसी तरह की कार्रवाई नहीं की गई। यही वजह है,कि उन्हें विरोध प्रदर्शन करने को मजबूर होना पड़ा।
दिखवाएंगे मामले को
दादरखुर्द में जमीन की स्थिति को लेकर कुछ लोगों के द्वारा अनशन करने की सूचना मिडिया से मिली है। यह प्रकरण क्या है, इसकी जानकारी जल्द ली जाएगी।
आराधना प्रधान, प्रभारी तहसीलदार, कोरबा
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