टीम इंडिया के पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धोनी के खिलाफ दिल्ली हाईकोर्ट में मानहानि का मुकदमा दायर किया गया है। यह मुकदमा उनके पूर्व बिजनेस पार्टनर मिहिर दिवाकर और दिवाकर की पत्नी सौम्या दास द्वारा दायर किया गया है।
दिवाकर और दास ने 2017 के अनुबंध के कथित उल्लंघन के संबंध में धोनी और उनकी ओर से काम करने वाले लोगों को उनके खिलाफ मानहानिकारक आरोप लगाने से रोकने के लिए निर्देश देने की मांग की है।
यह अनुबंध धोनी और दिवाकर और दास की स्वामित्व वाली कंपनी अरका स्पोर्ट्स मैनेजमेंट के बीच हुआ था। यह अनुबंध भारत और विश्व स्तर पर क्रिकेट अकादमियों की स्थापना के लिए था। मामला 18 जनवरी को न्यायमूर्ति प्रतिभा एम सिंह के समक्ष सुनवाई के लिए सूचीबद्ध है। मुकदमे में आरोप लगाया गया है कि धोनी और उनकी ओर से काम करने वाले लोगों ने दिवाकर और दास के खिलाफ मानहानिकारक आरोप लगाए कि उन्होंने क्रिकेट अकादमियों की स्थापना के अनुबंध का सम्मान न करके धोनी से लगभग ₹15 करोड़ की धोखाधड़ी की है।
2000 में अंडर-19 विश्व कप में भारत का प्रतिनिधित्व करने वाले दिवाकर ने कहा है कि इससे पहले कि कोई अदालत इस मुद्दे पर कोई ठोस निष्कर्ष दे पाती, धोनी के वकील दयानंद शर्मा ने 6 जनवरी, 2024 को एक प्रेसकॉन्फ्रेंस आयोजित कर दिवाकर और दास के खिलाफ आरोप लगाए।
दिवाकर और दास ने तर्क दिया है कि इन आरोपों को मीडिया में व्यापक रूप से दिखाया गया जिससे उनकी छवि खराब हुई। इसलिए, उन्होंने धोनी और उनकी ओर से काम करने वाले लोगों को उनके खिलाफ कोई भी मानहानिकारक आरोप लगाने से रोकने के लिए निर्देश देने की मांग की है। मुकदमे में एक्स (पूर्व में ट्विटर) के साथ-साथ गूगल, यूट्यूब, मेटा (फेसबुक) और कई समाचार प्लेटफार्मों को दिवाकर और दास के खिलाफ कथित मानहानिकारक लेख/पोस्ट को हटाने के लिए निर्देश देने की भी मांग की गई है।
धोनी ने पहले ‘एमएस धोनी क्रिकेट अकादमी’, ‘एमएस धोनी स्पोर्ट्स अकादमी’ या ‘एमएस धोनी’ नामों के तहत विश्व स्तर पर क्रिकेट अकादमियों और खेल परिसरों को चलाने के लिए 2017 में हस्ताक्षरित अनुबंध के कथित उल्लंघन के लिए दिवाकर और दास के खिलाफ रांची में एक आपराधिक मामला दर्ज किया था।’ धोनी ने आरोपलगाया कि उनके प्राधिकरण पत्र को रद्द करने के बाद भी, दिवाकर और दास ने अनुबंध में उल्लिखित नामों के तहत कई क्रिकेट अकादमियां खोलीं।
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