भारत-पाकिस्तान,19 मई 2025: भारत द्वारा आतंक के खिलाफ चलाए गए ऑपरेशन सिंदूर की सफलता से पाकिस्तान इतना बौखला गया कि उसने लगातार सैकड़ों ड्रोन और मिसाइल भारत पर दागे। पाकिस्तान का मकसद भारत के धार्मिक और नागरिक ठिकानों को निशाना बनाना था, ताकि भारत में अशांति फैलाई जा सके। लेकिन पाकिस्तान की यह नापाक साजिश भारतीय सेना और भारत के आधुनिक एयर डिफेंस सिस्टम के आगे पूरी तरह नाकाम हो गई। एक भी मिसाइल या ड्रोन अपने लक्ष्य तक नहीं पहुंच पाया। आइए जानते है इस खबर को विस्तार से…
सेना ने दिखाया एयर डिफेंस का दम
भारतीय सेना ने सोमवार को एक डेमोंस्ट्रेशन (प्रदर्शन) के जरिए दुनिया को दिखाया कि कैसे उसने पाकिस्तान की तरफ से किए गए हमलों को विफल किया। इस प्रदर्शन में AKASH मिसाइल प्रणाली और L-70 एयर डिफेंस गन को लाइव एक्शन में दिखाया गया। ANI द्वारा जारी वीडियो में साफ देखा गया कि कैसे भारतीय वायु रक्षा प्रणालियों ने अमृतसर के स्वर्ण मंदिर और पंजाब के कई अन्य शहरों को पाकिस्तानी मिसाइलों और ड्रोन हमलों से सुरक्षित रखा।
स्वर्ण मंदिर को बचाने के लिए खास सुरक्षा कवच
15 इन्फैंट्री डिविजन के जनरल ऑफिसर कमांडिंग मेजर जनरल कार्तिक सी. शेषाद्रि ने बताया कि भारतीय सेना को पहले से यह अंदेशा था कि पाकिस्तान के पास सैन्य रूप से ठोस लक्ष्य नहीं हैं, इसलिए वह धार्मिक स्थलों को निशाना बना सकता है। उन्होंने कहा कि स्वर्ण मंदिर एक पवित्र और सांस्कृतिक प्रतीक है, इसलिए उसकी सुरक्षा के लिए अतिरिक्त वायु रक्षा संसाधनों को तैनात किया गया और एक मजबूत सुरक्षा कवच बनाया गया।
8 मई की सुबह PAK ने किया हमला
मेजर जनरल शेषाद्रि के अनुसार, 8 मई की सुबह अंधेरे में पाकिस्तान ने भारत पर ड्रोन और लंबी दूरी की मिसाइलों से हमला किया। लेकिन भारत की सेना पूरी तरह सतर्क और तैयार थी। उन्होंने बताया कि “हमारे वायु रक्षा सैनिकों ने पाकिस्तानी सेना की नापाक मंशा को पूरी तरह नाकाम कर दिया। एक भी मिसाइल या ड्रोन स्वर्ण मंदिर को छू तक नहीं सका। हमारी सुरक्षा प्रणाली ने हर खतरे को हवा में ही खत्म कर दिया।”
ऑपरेशन सिंदूर में तबाह हुए आतंकी अड्डे
मेजर जनरल ने बताया कि पाकिस्तान द्वारा समर्थित आतंकी हमले में घरेलू और विदेशी पर्यटकों की हत्या के बाद पूरे देश में जनता में गुस्सा था। इसके बाद सरकार के नेतृत्व में ऑपरेशन सिंदूर की शुरुआत हुई। इस ऑपरेशन के तहत भारतीय सेना ने पाकिस्तान के अंदर 9 आतंकी ठिकानों को निशाना बनाया, जिनमें से 7 को पूरी तरह नष्ट कर दिया गया। इनमें शामिल थे:
लश्कर-ए-तैयबा का मुख्यालय (मुरीदके)
-जैश-ए-मोहम्मद का अड्डा (बहावलपुर) इन दोनों को सटीकता से टारगेट कर पूरी तरह तबाह किया गया।
भारत ने सिर्फ आतंकी ठिकानों को बनाया…
भारत ने साफ किया कि इन हमलों का मकसद सिर्फ आतंकी अड्डों को नष्ट करना था। पाकिस्तानी सैन्य या नागरिक ठिकानों को जानबूझकर निशाना नहीं बनाया गया। यह भारत की जिम्मेदार सैन्य नीति को दर्शाता है, जो सिर्फ आतंक के खिलाफ है, पाकिस्तान के नागरिकों या सेना के खिलाफ नहीं। मेजर जनरल शेषाद्रि ने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर में सभी लक्ष्य कुशलता से और सटीकता से हासिल किए गए, जिससे पाकिस्तान को स्पष्ट संदेश गया कि भारत किसी भी आतंकी हरकत को बर्दाश्त नहीं करेगा।
उन्होंने कहा, “भारत के पास प्रभावशाली नेतृत्व, मजबूत कूटनीति, आर्थिक शक्ति और सैन्य ताकत है। पाकिस्तान को हमारी सेना की क्षमताओं का अंदाज़ा नहीं है। हमने दुश्मन की हर कमजोरी को पहचाना है और हम हर वक्त सतर्क हैं। अगर पाकिस्तान ने फिर आतंक का साथ दिया, तो उसका विनाश निश्चित है।”
एयर डिफेंस बना सुरक्षा कवच…
भारत ने ऑपरेशन सिंदूर के जरिए सिर्फ आतंकवाद को ही नहीं, बल्कि पूरी दुनिया को यह संदेश दिया कि भारत अपने धार्मिक, नागरिक और राष्ट्रीय स्थलों की रक्षा के लिए हर स्तर पर तैयार है। भारतीय वायु रक्षा प्रणाली ने साबित किया कि भारत अब किसी भी प्रकार के खतरे को सिर्फ जवाब नहीं, निर्णायक जवाब देना जानता है।