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प्लास्टिक की चीजों में भोजन करने के क्या हैं नुकसान?

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आज के दौर में रहन सहन के साथ-साथ हमारा खानपान भी बदल गया है. पहले हम घर का खाना पसंद करते थे, लेकिन आजकल लोग मार्केट का खाना ज्यादा पसंद कर रहे हैं. बहुत से लोग मार्केट से खाना पैक कराकर घर ले आते हैं, लेकिन क्या आपको पता है कि खाना जिस प्लास्टिक के डिब्बे में बंद होकर आता है वह हमारी सेहत के लिए कितना नुकसानदेह है. प्लास्टिक के डिब्बे में पैक खाना कई बीमारियों को न्योता दे रहा है.

आजकल हर घर में प्लास्टिक के बर्तन इस्तेमाल हो रहे हैं. चाय पीने से लेकर खाना खाने तक में प्लास्टिक के बर्तनों का प्रयोग किया जा रहा है. यहां तक कि बाजार में मिलने वाले कई फूड आइटम्स भी प्लास्टिक में पैक होकर आते हैं. लोग इसे धड़ल्ले से इस्तेमाल कर रहे हैं. आज प्लास्टिक हमारे जीवन में इस कदर आ गया है कि लोग भी मार्केट में प्लास्टिक के चीजों में ही खाना लेना पसंद कर रहे हैं. लोग इसे हल्के में लेते हैं, लेकिन क्या आप जानते हैं कि प्लास्टिक में खाना खाने से आपकी सेहत को बड़ा नुकसान हो सकता है. प्लास्टिक धीरे-धीरे हमारे शरीर में जहर घोल रहा है. आइए जानते हैं कि प्लास्टिक के बर्तनों में खाने से क्या-क्या दिक्कतें हो सकती हैं और इससे बचने के क्या उपाय हैं.

प्लास्टिक से निकलते हैं खतरनाक केमिकल


प्लास्टिक में कई तरह के हानिकारक केमिकल होते हैं, जैसे बिस्फेनॉल ए और फथैलेट्स. जब आप गर्म खाना प्लास्टिक के बर्तन में रखते हैं, तो ये केमिकल खाने में मिल सकते हैं. ये शरीर में हार्मोनल गड़बड़ी कर सकते हैं और हार्ट संबंधी बीमारी, कैंसर, मोटापा, डायबिटीज जैसी कई बीमारियों को बुलावा दे सकते हैं.

कंजेस्टिव हार्ट फेलियर होने का खतरा


वरिष्ठ हृदय रोग विशेषज्ञ डॉ आनंद पाडेंय कहते हैं कि प्लास्टिक के कंटेनर में खाना सेहत के लिए बहुत नुकसानदायक है. आज मार्केट में प्लास्टिक के बर्तनों का इस्तेमाल इतना बढ़ गया है कि लोग बड़े आसानी से पैक डब्बों का भोजन कर रहे हैं.

प्लास्टिक के डिब्बों में पैक होने वाला खाना खाने से कंजेस्टिव हार्ट फेलियर होने का खतरा बढ़ सकता है. जब हार्ट शरीर की जरूरतों के मुताबिक पर्याप्त खून को पंप नहीं कर पाता है, तब यह स्थिति पैदा होती है. यानी हार्ट फेलियर में हार्ट का पंप खराब हो जाता है. इसमें समय के साथ आपके शरीर के दूसरे हिस्सों में खून जमा हो सकता है. ज्यादातर खून आपके फेफड़ों, पैरों और पंजों में जमा होने लगता है जो आगे चलकर हार्ट फेलियर का खतरा हो सकता है.

कैंसर का खतरा


इसके अलावा पैक डब्बों का भोजन कैंसर जैसे घातक बीमारी को भी न्योता देता है. विशेषज्ञों का कहना है कि प्लास्टिक में मौजूद कुछ केमिकल लंबे समय तक शरीर में जमा होते रहते हैं और धीरे-धीरे कैंसर जैसी खतरनाक बीमारी की वजह बन सकते हैं. खासतौर पर प्लास्टिक के पैकेट में गर्म खाना लाने से ये खतरा और बढ़ जाता है

हार्मोन पर बुरा असर


प्लास्टिक के जहरीले तत्व शरीर के हार्मोन्स को बिगाड़ सकते हैं. इसका असर पुरुषों और महिलाओं दोनों पर पड़ता है. पुरुषों में स्पर्म काउंट घट सकता है, जिससे आगे चलकर बच्चा पैदा करने में दिक्कत आ सकती है. महिलाओं में पीरियड्स से जुड़ी समस्याएं हो सकती हैं.

पेट से जुड़ी दिक्कतें


अगर आप रोज प्लास्टिक के बर्तनों में खाना खाते हैं, तो धीरे-धीरे इसके छोटे-छोटे कण शरीर में जमा होने लगते हैं. इससे गैस, एसिडिटी, कब्ज़ और पेट में दर्द जैसी समस्याएं हो सकती हैं.

पर्यावरण के लिए भी खतरनाक


प्लास्टिक सिर्फ हमारी सेहत के लिए ही नहीं, बल्कि धरती के लिए भी खतरनाक है. यह सैकड़ों सालों तक नष्ट नहीं होता और मिट्टी व पानी को दूषित करता है. इससे न केवल पर्यावरण को नुकसान होता है, बल्कि जानवरों और समुद्री जीवों पर भी बुरा असर पड़ता है.

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